विदेश मंत्रालय ने 19 जनवरी 2023 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर बनी बीबीसी की डॉक्यूमेंट्री को खारिज करते हुए कहा कि यह एक प्रोपगेंडा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर बनी बीबीसी की डॉक्यूमेन्ट्री का विवाद बढ़ता जा रहा है। इस पर भारत के विदेश मंत्रालय ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी है। वहीं, ब्रिटेन में भी इस डॉक्यूमेंट्री का मुद्दा वहां की संसद में भी उठा है। ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने भी प्रतिक्रिया दी।
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डॉक्यूमेंट्री में क्या है, जिस पर विवाद हो रहा है?
ब्रिटिश ब्रॉडकास्टर बीबीसी ने India: The Modi Question शीर्षक से दो पार्ट में एक नई सीरीज बनाई है। इसका पहला पार्ट 17 जनवरी 2023 को जारी किया गया है। इस सीरीज में पीएम मोदी के शुरुआती दौर के राजनीतिक सफर पर बातें की गईं हैं। वहीं, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के साथ उनके जुड़ाव, भाजपा में बढ़ते कद और गुजरात के मुख्यमंत्री के रूप में उनकी नियुक्ति की चर्चा भी इसमें की गई है। मोदी के मुख्यमंत्री रहते गुजरात में हुए दंगों का भी इसमें जिक्र है। इस हिस्से में गुजरात दंगों में पीएम मोदी की कथित भूमिका की बात कही गई है। इसी को लेकर विवाद हो रहा है।
भारतीय विदेश मंत्रालय ने सीरीज पर क्या कहा?
बीबीसी द्वारा रिलीज डॉक्यूमेंट्री को लेकर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा कि हमें लगता है कि यह एक प्रोपोगेंडा का हिस्सा है। इसकी कोई वस्तुनिष्ठता नहीं है। उन्होंने इसे पक्षपातपूर्ण बताते हुए कहा कि ‘ध्यान दें कि इसे भारत में प्रदर्शित नहीं किया गया है।’ विदेश मंत्रालय ने कहा है कि हमें लगता है कि यह एक प्रचार सामग्री है, जिसे एक विशेष कहानी को आगे बढ़ाने के लिए बनाया गया है। इसमें पूर्वाग्रह, निष्पक्षता की कमी और औपनिवेशिक मानसिकता स्पष्ट रूप से दिखाई दे रही है। उन्होंने कहा कि यह फिल्म या डॉक्यूमेंट्री उस एजेंसी और व्यक्तियों का एक प्रतिबिंब है जो इस कहानी को फिर से फैला रहे हैं।
ब्रिटेन की संसद में इस पर क्या हुआ?
पाकिस्तान मूल के लेबर पार्टी के सांसद इमरान हुसैन ने ब्रिटेन की संसद में इसका मुद्दा उठाया। इसके बाद ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने कहा कि वह अपने भारतीय समकक्ष के चरित्र चित्रण से सहमत नहीं हैं। उन्होंने कहा कि इस पर यूके सरकार की स्थिति स्पष्ट और लंबे समय से चली आ रही है और बदली नहीं है। आगे सुनक ने कहा, ‘निश्चित रूप से हम उत्पीड़न को बर्दाश्त नहीं करते हैं, चाहे यह कहीं भी हो, लेकिन मैं उस चरित्र-चित्रण से बिल्कुल सहमत नहीं हूं, जो नरेंद्र मोदी को लेकर सामने रखा गया है।’