राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू (President Droui Murmupad) 74वें गणतंत्र दिवस(Republic Day) की पूर्व संध्या पर राष्ट्र को संबोधित किया, अपने संबोधन में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा कि हर नागरिक को गौरव गाथा पर गर्व है। हम सब एक ही हैं, और हम सभी भारतीय हैं। इतने सारे पंथों और इतनी सारी भाषाओं ने हमें विभाजित नहीं किया है बल्कि हमें जोड़ा है। इसलिए हम एक लोकतांत्रिक गणराज्य के रूप में सफल हुए हैं। यही भारत का सार-तत्व है।
राष्ट्र के नाम संबोधन में राष्ट्रपति मुर्मू ने कहा, ’74वें गणतंत्र दिवस की पूर्व संध्या पर, मैं देश और विदेश में रहने वाले आप सभी भारतीयों को हार्दिक बधाई देता हूं। जब हम गणतंत्र दिवस मनाते हैं, तब हम एक राष्ट्र के रूप में एक साथ हासिल की गई उपलब्धियों का जश्न मनाते हैं।’ राष्ट्रपति ने कहा, हम विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में अपनी उपलब्धियों पर गर्व का अनुभव कर सकते हैं। अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में, भारत गिने-चुने अग्रणी देशों में से एक रहा है। भारतीय अंतरिक्ष यात्रियों को ले जाने के लिए गगनयान कार्यक्रम प्रगति पर है।
74वां गणतंत्र दिवस 2023: राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू का भाषण
- राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने इस दौरान बाबासाहेब आंबेडकर और अन्य विभूतियों द्वारा प्रस्तुत भविष्य के मानचित्र का जिक्र करते हुए कहा कि हम काफी हद तक उनकी उम्मीदों पर खरे उतरे भी हैं, लेकिन यह भी महसूस करते हैं कि गांधीजी के सर्वोदय के आदर्शों को प्राप्त करना, सभी का उत्थान किया जाना अभी बाकी है।
- राष्ट्रपति ने कहा कि भारत विश्व की सबसे पुरानी और जीवंत सभ्यताओं में से एक है तथा उसे लोकतंत्र की जननी कहा जाता है, फिर भी हमारा आधुनिक गणतंत्र युवा है. स्वतंत्रता के प्रारंभिक वर्षों की चुनौतियों का जिक्र करते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि बाबासाहेब आंबेडकर और अन्य विभूतियों ने हमें एक मानचित्र तथा एक नैतिक आधार प्रदान किया और उस राह पर चलने की जिम्मेदारी हम सब की है।
- राष्ट्रपति ने कहा कि हमने सभी क्षेत्रों में उत्साहवर्धक प्रगति हासिल की है तथा सर्वोदय के मिशन में आर्थिक मंच पर भी प्रगति सबसे अधिक उत्साहजनक रही है। उन्होंने कहा कि पिछले साल भारत दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गया तथा यह उल्लेख करना जरूरी है कि यह उपलब्धि आर्थिक अनिश्चितता से भरी वैश्विक पृष्ठभूमि में प्राप्त की गई है।
- कोविड-19 के वैश्विक प्रभावों के संदर्भ में उन्होंने कहा कि वैश्विक महामारी चौथे वर्ष में प्रवेश कर चुकी है और दुनिया के अधिकांश हिस्सों में आर्थिक विकास पर इसका प्रभाव पड़ रहा है। राष्ट्रपति ने कहा कि शुरुआती दौर में कोविड-19 से भारत की अर्थव्यवस्था को काफी क्षति पहुंची, फिर भी सक्षम नेतृत्व और प्रभावशीलता के बल पर हम इससे बाहर आ गए और अपनी विकास यात्रा को फिर से शुरू किया।
- राष्ट्रपति मुर्मू ने कहा, ‘अर्थव्यवस्था के अधिकांश क्षेत्र अब हमारी महामारी के प्रभाव से बाहर आ गए हैं। भारत तेजी से बढ़ती हुई अर्थव्यवस्थाओं में से एक है। यह सरकार द्वारा समय पर किए गए प्रयासों द्वारा ही संभव हो पाया है।’ उन्होंने कहा कि इस संदर्भ में आत्मनिर्भर भारत अभियान के प्रति जन सामान्य के बीच विशेष उत्साह देखा जा रहा है।
- उन्होंने कहा कि मार्च 2020 में घोषित प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना पर अमल करते हुए सरकार ने उस समय गरीब परिवारों के लिए खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित की, जब हमारे देशवासी कोविड-19 की महामारी के कारण अकस्मात उत्पन्न हुए आर्थिक विरोध का सामना कर रहे थे।
- प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजनाओं का उल्लेख करते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि इस सहायता की वजह से किसी को खाली पेट नहीं सोना पड़ा तथा गरीब परिवारों के हित को सर्वोपरि रखते हुए इस योजना की अवधि को बार बार बढ़ाया गया तथा लगभग 81 करोड़ देशवासी लाभान्वित होते रहे।