हिमाचल प्रदेश के राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर ने तिब्बती आध्यात्मिक नेता दलाई लामा को ‘गांधी मंडेला’ पुरस्कार से सम्मानित किया। लामा को मैकलोडगंज में गांधी मंडेला फाउंडेशन की ओर से आयोजित समारोह में पुरस्कृत किया गया।आर्लेकर ने कहा कि दलाई लामा इस पुरस्कार के लिए ‘शायद आज दुनिया में सर्वाधिक हकदार व्यक्ति’ हैं और उन्हें ‘शांति का सार्वभौम दूत’ बताया। उन्होंने कहा कि अहिंसा और करुणा के उनके सिद्धांतों की आज की दुनिया में जरूरत हैं क्योंकि ये किसी भी सेना से अधिक प्रभावी हैं।
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राज्यपाल ने कहा कि लामा ने सद्भावना, करुणा और प्रेम की सदियों पुरानी संस्कृति को आगे बढ़ाया है। गांधी मंडेला फाउंडेशन को बधाई देते हुए उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी और नेल्सन मंडेला के बाद केवल दलाई लामा ही विश्व नागरिक बनने की क्षमता रखते हैं, क्योंकि वह सीमाओं से बंधे नहीं हैं। पुरस्कार ग्रहण करते हुए लामा ने कहा कि अहिंसा और करुणा विश्व शांति के लिए जरूरी हैं और ये सिद्धांत हजारों वर्षों से भारतीय संस्कृति में शामिल हैं।
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