बुधवार, 30 जुलाई 2025 को रूस के सुदूर पूर्वी क्षेत्र कामचाटका प्रायद्वीप में दो भीषण प्राकृतिक घटनाएँ देखने को मिलीं — एक शक्तिशाली 8.8 तीव्रता का भूकंप और उसके कुछ ही घंटों बाद क्ल्युचेवस्कॉय ज्वालामुखी का विस्फोट, जो यूरोप और एशिया का सबसे ऊँचा सक्रिय ज्वालामुखी है।
रूसी भूभौतिकीय सर्वेक्षण के अनुसार, भूकंप के कुछ समय बाद ही क्ल्युचेवस्कॉय ज्वालामुखी ने लावा उगलना शुरू कर दिया। यह विस्फोट रात के आकाश को नारंगी रोशनी से चमका रहा था, जबकि ज्वालामुखी की पश्चिमी ढलान से लाल-गर्म लावा बहते हुए देखा गया।
क्ल्युचेवस्कॉय ज्वालामुखी: प्रकृति का आग उगलता अद्भुत दृश्य
क्ल्युचेवस्कॉय ज्वालामुखी, जिसकी ऊँचाई लगभग 4,700 मीटर (15,000 फीट) है, अपनी बार-बार होने वाली सक्रियता के लिए जाना जाता है। स्मिथसोनियन संस्था के ग्लोबल वॉल्कैनिज्म प्रोग्राम के अनुसार, वर्ष 2000 से अब तक इसके कम से कम 18 विस्फोट दर्ज किए जा चुके हैं।
प्रत्यक्षदर्शियों और निगरानी स्टेशनों ने रिपोर्ट किया कि:
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ज्वालामुखी के ऊपर तेज़ चमक देखी गई।
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विस्फोटों के साथ राख और लावे का ज़बरदस्त उत्सर्जन हुआ।
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पश्चिमी ढलान से निरंतर लावा बहता रहा।
हालाँकि यह दृश्य नेत्रविनोदक था, फिर भी इस विस्फोट से लोगों को तत्काल कोई बड़ा खतरा नहीं है क्योंकि आस-पास की आबादी बहुत कम है। सबसे नज़दीकी बड़ा शहर, पेट्रोपावलोव्स्क-कामचात्स्की, सैकड़ों किलोमीटर दूर स्थित है।
भूकंप और सूनामी चेतावनी
इसी दिन पहले, 8.8 तीव्रता का भूकंप कामचाटका के प्रशांत तट पर आया, जिससे पूरे क्षेत्र में और जापान तक सूनामी चेतावनियाँ जारी की गईं।
भूकंप की जबरदस्त ताकत के कारण तटीय इलाकों में एहतियातन लोगों को ऊँचाई वाले स्थानों पर पहुंचाया गया। हालाँकि 11 घंटे बाद रूसी अधिकारियों ने यह पुष्टि करते हुए सूनामी चेतावनी हटा दी कि भारी लहरें आबादी वाले क्षेत्रों तक नहीं पहुँचीं।
कोई बड़ा नुकसान या हताहत नहीं
इतिहास गवाह है कि क्ल्युचेवस्कॉय के विस्फोटों से अब तक बड़े स्तर पर जान-माल का नुकसान नहीं हुआ है, और इस बार भी ऐसी कोई बड़ी क्षति या मृत्यु की सूचना नहीं है। फिर भी वैज्ञानिक लगातार ज्वालामुखी और भूकंपीय गतिविधियों की निगरानी कर रहे हैं, ताकि किसी भी संभावित खतरे की पहचान समय पर हो सके।
कामचाटका: आग और भूकंपों की धरती
कामचाटका प्रायद्वीप प्रशांत रिंग ऑफ फायर में स्थित है, जो भूवैज्ञानिक दृष्टि से अत्यंत सक्रिय क्षेत्र है। यहाँ टेक्टोनिक प्लेटों के टकराव के कारण भूकंप और ज्वालामुखी विस्फोट आम हैं। इस क्षेत्र में 300 से अधिक ज्वालामुखी मौजूद हैं, जिनमें लगभग 29 सक्रिय हैं।
क्ल्युचेवस्कॉय ज्वालामुखी प्रकृति की अदम्य शक्ति का प्रतीक बना हुआ है, जो अपने खतरों के बावजूद वैज्ञानिकों और साहसिक यात्रियों को आकर्षित करता रहता है।


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