भारत ने 28 नवंबर 2025 को एक महत्वपूर्ण कूटनीतिक और समुद्री उपलब्धि हासिल की, जब अंतरराष्ट्रीय समुद्री संगठन (IMO) की कैटेगरी-B परिषद में उसे पुनः निर्वाचित किया गया। भारत ने 169 वैध मतों में से 154 वोट प्राप्त किए — जो इस श्रेणी में सबसे अधिक थे। यह लगातार दूसरा कार्यकाल है जब भारत कैटेगरी-B में शीर्ष मत पाने वाला देश बना है, जिससे वैश्विक समुद्री शक्ति के रूप में उसकी बढ़ती भूमिका स्पष्ट होती है। लंदन में आयोजित IMO की 34वीं महासभा के दौरान हुए इस चुनाव में मिली सफलता भारत की नीतिगत प्रभावशीलता को मजबूत करती है और अमृत काल मैरीटाइम विज़न 2047 के अनुरूप अंतरराष्ट्रीय शिपिंग क्षेत्र में उसके नेतृत्व को और सुदृढ़ बनाती है।
IMO परिषद और कैटेगरी-B क्या है?
IMO परिषद (Council) अंतरराष्ट्रीय समुद्री संगठन का कार्यकारी अंग है, जो IMO विधानसभा (Assembly) के सत्रों के बीच संगठन के सभी कामकाज की निगरानी और संचालन करता है। यह नीतिगत दिशा देने, बजट की देखरेख करने और वैश्विक समुद्री मामलों पर महत्वपूर्ण निर्णय लेने वाली प्रमुख निकाय है।
परिषद को तीन श्रेणियों में विभाजित किया गया है:
कैटेगरी A:
वे देश जिनका अंतरराष्ट्रीय शिपिंग सेवाओं (international shipping services) में सबसे बड़ा योगदान और हित है।
कैटेगरी B:
वे देश जिनका अंतरराष्ट्रीय समुद्री व्यापार (international seaborne trade) में सबसे बड़ा हिस्सा और महत्व है।
कैटेगरी C:
वे देश जिनका समुद्री परिवहन, नौवहन या विशेष भौगोलिक हितों से संबंधित विशिष्ट योगदान है।
भारत कैटेगरी-B में कार्य करता है, जहाँ वह अन्य प्रमुख वैश्विक व्यापारिक देशों—जैसे जर्मनी, फ्रांस, कनाडा, यूएई, ऑस्ट्रेलिया, स्पेन, स्वीडन, नीदरलैंड और ब्राज़ील—के साथ शामिल है।
कैटेगरी-B में भारत शीर्ष पर: एक राजनयिक और समुद्री उपलब्धि
भारत ने 169 में से 154 वोट हासिल कर कैटेगरी-B में शानदार जीत दर्ज की, जो इस बात का प्रमाण है कि वैश्विक समुद्री समुदाय भारत की रचनात्मक भूमिका, नेतृत्व क्षमता और अंतरराष्ट्रीय समुद्री व्यापार, सुरक्षा तथा स्थिरता के भविष्य को दिशा देने की योग्यता पर गहरा विश्वास करता है।
केंद्रीय मंत्री सरबानंद सोनोवाल ने इस परिणाम को प्रधानमंत्री मोदी की समुद्री दृष्टि का “शक्तिशाली प्रमाण” बताया। उन्होंने कहा कि यह जीत भारत के निम्न क्षेत्रों में किए गए कार्यों को वैश्विक स्तर पर मान्यता देती है—
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समुद्री सुरक्षा और नाविकों के कल्याण
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शिपिंग में डीकार्बोनाइजेशन और स्थिरता
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तकनीकी नवाचार और डिजिटल शिपिंग प्रणाली
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बंदरगाह आधारित विकास और ब्लू इकोनॉमी
अमृत काल मरीटाइम विज़न 2047 की भूमिका
IMO में भारत का पुनर्निर्वाचन अमृत काल मरीटाइम विज़न 2047 के अनुरूप है, जो स्वतंत्रता के 100 वर्षों के अवसर पर भारत को एक वैश्विक प्रतिस्पर्धी समुद्री केंद्र बनाने का रोडमैप है।
प्रधानमंत्री मोदी के मार्गदर्शन में और मंत्रियों सोनोवाल व शंतनु ठाकुर के नेतृत्व में यह विज़न निम्न लक्ष्यों पर केंद्रित है—
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ग्रीन शिपिंग व सतत समुद्री प्रथाओं का विस्तार
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आधुनिक पोर्ट लॉजिस्टिक्स और शिपबिल्डिंग अवसंरचना
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वैश्विक समुद्री कूटनीति और साझेदारियाँ
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स्मार्ट और मजबूत सप्लाई चेन का विकास
भारत की इस निरंतर वैश्विक पहचान को इस दीर्घकालिक रणनीति की विश्वसनीयता और सफलता का प्रमाण माना जा रहा है।
समुद्री कूटनीति और वैश्विक सहभागिता
IMO असेंबली के दौरान भारतीय प्रतिनिधिमंडल ने कई देशों और संगठनों के साथ द्विपक्षीय व बहुपक्षीय बैठकें कीं। चर्चाएँ मुख्यतः इन विषयों पर केंद्रित रहीं—
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ग्रीन मरीटाइम सहयोग
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शिपिंग के डिजिटलाइजेशन
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नाविकों के प्रशिक्षण व कल्याण
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बंदरगाह और लॉजिस्टिक्स ढाँचे के लिए साझेदारियाँ
हाल ही में भारत ने इंडिया मरीटाइम वीक 2025 की मेजबानी भी की, जिसका उद्घाटन PM मोदी ने किया और जिसमें 100 से अधिक देशों ने हिस्सा लिया। इस कार्यक्रम ने भारत की समुद्री क्षमता, तकनीकी प्रगति और सुरक्षा सहयोग को प्रदर्शित किया।
भारत और विश्व के लिए रणनीतिक महत्व
IMO परिषद में भारत का पुनर्निर्वाचन केवल एक औपचारिकता नहीं है; इससे भारत को—
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वैश्विक समुद्री नियमों के निर्माण में निर्णायक भागीदारी
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जलवायु परिवर्तन, ऑटोमेशन और व्यापार लॉजिस्टिक्स से जुड़े नए मानकों पर प्रभाव
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विकासशील देशों के हितों को वैश्विक नीतियों में शामिल कराने का अवसर
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वैश्विक सप्लाई चेन स्थिरता में एक महत्वपूर्ण भूमिका मिलती है।
तेजी से बदलते वैश्विक समुद्री परिदृश्य—जलवायु चुनौतियों, ऊर्जा परिवर्तन और डिजिटल क्रांति—के दौर में भारत की सक्रिय समुद्री कूटनीति भविष्य की नीतियों को आकार देने में महत्वपूर्ण योगदान दे रही है।
मुख्य बिंदु (Key Takeaways)
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घटना: IMO परिषद के लिए कैटेगरी-B में पुनर्निर्वाचन
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तारीख: 28 नवंबर 2025
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स्थान: 34वीं IMO असेंबली, लंदन
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प्राप्त वोट: 169 में से 154 (कैटेगरी में सर्वोच्च)
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कैटेगरी-B के सदस्य: जर्मनी, फ्रांस, कनाडा, UAE, ऑस्ट्रेलिया, स्पेन, स्वीडन, नीदरलैंड, ब्राज़ील
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परिषद की भूमिका: IMO की कार्यकारी इकाई, जो वैश्विक समुद्री नीतियों का संचालन करती है
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भारत की समुद्री रणनीति: अमृत काल मरीटाइम विज़न 2047


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