ताइवान की इलेक्ट्रिक वाहन कंपनी गोगोरो इंक ने बेलराइज इंडस्ट्रीज के साथ मिलकर महाराष्ट्र में बैटरी की अदला-बदली करने वाला ढांचा खड़ा करने के लिए राज्य सरकार के साथ समझौता किया है। स्विट्जरलैंड के दावोस में विश्व आर्थिक मंच (डब्ल्यूईएफ) की बैठक से इतर गोगोरो इंक और बेलराइज ने इस संबंध में महाराष्ट्र सरकार के साथ एक गैर-बाध्यकारी समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए। इस समझौते के तहत गोगोरो और बेलराइज इस पहल के लिए एक संयुक्त उपक्रम स्थापित करने वाले हैं।
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बेलराइज भारत में दोपहिया और तिपहिया वाहनों के चेसिस के एक बड़े हिस्से का निर्माण करती है। गोगोरो और बेलराइज मिलकर महाराष्ट्र में 2.5 अरब डॉलर मूल्य का बैटरी अदला-बदली ढांचा खड़ा करने की योजना बना रही हैं। अगले कुछ सालों में इस गठजोड़ में कुछ अन्य साझेदारों और निवेशकों के भी जुड़ने की संभावना है। गोगोरो इंक ने एक बयान में दावा किया कि यह ढांचा दुनिया में अब तक का सबसे बड़ा टिकाऊ पोर्टेबल ऊर्जा तंत्र होगा।
इसके जरिये बैटरी की अदला-बदली, स्मार्ट इलेक्ट्रिक वाहनों की पेशकश, वाहनों को साझा करने, मांग प्रतिक्रिया और वितरित ऊर्जा भंडारण, स्मार्ट कृषि और अन्य सुविधाओं तक पहुंच देने पर ध्यान दिया जाएगा। इससे राज्य में स्मार्ट ऊर्जा, इलेक्ट्रिक वाहन और वहनीयता मांग शुल्क के क्षेत्र में रोजगार सृजन में तेजी आने की भी उम्मीद है।
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा, यह राज्य के लिए एक अद्भुत क्षण है। यह दुनियाभर में अपनी तरह की शायद सबसे बड़ी हरित साझेदारी होगी। उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने भी इस समझौते का स्वागत करते हुए कहा कि ऊर्जा चुनौतियों के समाधान में बैटरी की अदला-बदली का इस्तेमाल करने के लिए दुनिया की सबसे बड़ी नवोन्मेषी स्मार्ट ऊर्जा अवसंचरना राज्य में स्थापित की जाएगी।