गोवा मुक्ति दिवस प्रतिवर्ष 19 दिसंबर को मनाया जाता है, जो 1961 में पुर्तगाली औपनिवेशिक शासन के 451 वर्षों के अंत का प्रतीक है। यह ऐतिहासिक दिन स्वतंत्रता सेनानियों की बहादुरी और बलिदान तथा स्वतंत्रता के संघर्ष का सम्मान करते हुए गोवा के भारत में एकीकरण की याद दिलाता है।
गोवा मुक्ति दिवस हर साल 19 दिसंबर को मनाया जाता है, जो 1961 में पुर्तगाली शासन से गोवा की आज़ादी का प्रतीक है। यह आयोजन 451 साल के औपनिवेशिक शासन के अंत का प्रतीक है और स्वतंत्रता सेनानियों की बहादुरी और बलिदान का स्मरण कराता है। इस दिन गोवा भारत का अभिन्न अंग बन गया था और यह उत्सव स्वतंत्रता के ऐतिहासिक संघर्ष का सम्मान करने के लिए मनाया जाता है।
| सारांश/स्थैतिक | विवरण |
| चर्चा में क्यों? | गोवा मुक्ति दिवस 2024: तिथि, इतिहास और महत्व |
| उत्सव की तिथि | 19 दिसंबर |
| ऐतिहासिक महत्व | यह गोवा, दमन और दीव में 451 वर्षों के पुर्तगाली शासन का अंत है। |
| स्वतंत्रता | भारतीय सेना के ऑपरेशन विजय के बाद 19 दिसंबर 1961 को गोवा भारत का हिस्सा बन गया। |
| स्वतंत्रता संग्राम | भारत के सत्याग्रह से प्रभावित होकर गोवा के नागरिकों ने स्वतंत्रता आंदोलन में भाग लिया। |
| सांस्कृतिक प्रभाव | औपनिवेशिक शासन के बावजूद गोवा ने अपनी विशिष्ट संस्कृति और पहचान बरकरार रखी है। |
| समारोह | स्कूलों और कॉलेजों में भाषण प्रतियोगिताएं, चित्रकला और पोस्टर बनाने के कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं। |
| इस दिन का महत्व | यह गोवा के संघर्ष, लचीलेपन और सांस्कृतिक विरासत तथा भारत में इसके एकीकरण का प्रतिनिधित्व करता है। |
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