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1 अगस्त से बदल जाएंगे ये वित्तीय नियम, लेन-देन पर पड़ेगा असर

भारत में 1 अगस्त, 2025 से कई महत्वपूर्ण वित्तीय बदलाव लागू होंगे। ये बदलाव लोगों के डिजिटल भुगतान, क्रेडिट कार्ड प्रबंधन, ईंधन खरीद और वित्तीय बाज़ारों में व्यापार करने के तरीके को प्रभावित करेंगे। इन बदलावों का उद्देश्य प्रणालियों को अधिक कुशल बनाना, देरी कम करना और उपयोगकर्ताओं को संभावित जोखिमों से बचाना है। यहाँ विस्तार से बताया गया है कि क्या बदलाव हो रहे हैं और ये आपको कैसे प्रभावित कर सकते हैं।

UPI लेनदेन नियमों में बड़ा बदलाव

नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) ने यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (UPI) प्रणाली में कई अहम बदलावों की घोषणा की है। अप्रैल 2025 में घोषित ये सुधार UPI को तेज, अधिक स्थिर और उच्च ट्रैफिक के दौरान भी कुशल बनाने के उद्देश्य से किए गए हैं।

मुख्य बदलाव इस प्रकार हैं:

  • बैलेंस चेक लिमिट: अब उपयोगकर्ता प्रत्येक UPI ऐप (जैसे PhonePe, Google Pay, Paytm) पर प्रति दिन अधिकतम 50 बार बैलेंस चेक कर सकते हैं। अलग-अलग ऐप्स पर यह सीमा अलग-अलग लागू होगी। हालांकि, NPCI ने पिक ऑवर्स (उच्च ट्रैफिक वाले समय) के दौरान बार-बार बैलेंस जांच से बचने की सलाह दी है।

  • ऑटो-पे ट्रांजैक्शन: अब सब्सक्रिप्शन, बिल भुगतान व अन्य आवर्ती भुगतानों को केवल नॉन-पीक ऑवर्स में प्रोसेस किया जाएगा — सुबह 10 बजे से पहले, दोपहर 1 से 5 बजे के बीच और रात 9:30 बजे के बाद।

  • UPI स्थिति जांच सीमा: किसी UPI लेनदेन की स्थिति अधिकतम 3 बार ही जांची जा सकती है, और हर जांच के बीच कम से कम 90 सेकंड का अंतर जरूरी होगा।

  • बैंक खाता विवरण देखने की सीमा: आप किसी भी एक UPI ऐप पर अपने लिंक किए गए बैंक खातों की जानकारी एक दिन में अधिकतम 25 बार देख सकते हैं।

  • बेहतर सुरक्षा के लिए नया फीचर: पैसे भेजने से पहले अब रिसीवर का पंजीकृत बैंक नाम स्क्रीन पर दिखेगा, जिससे सही व्यक्ति को भुगतान की पुष्टि आसान होगी और धोखाधड़ी की आशंका घटेगी।

SBI क्रेडिट कार्ड पर एयर एक्सीडेंट बीमा कवर समाप्त

स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBI) ने अपने कई को-ब्रांडेड क्रेडिट कार्ड्स पर मुफ्त हवाई दुर्घटना बीमा कवर को 1 अगस्त 2025 से बंद करने की घोषणा की है।

  • अब तक, ELITE कार्ड्स (जैसे UCO Bank SBI Card ELITE, Central Bank ELITE, आदि) ₹1 करोड़ तक का बीमा कवर प्रदान करते थे।

  • मिड-रेंज कार्ड्स (जैसे SBI Card PRIME, SBI Platinum Cards) ₹50 लाख तक का कवर देते थे।

  • यह सुविधा अब बंद हो रही है, जिससे हवाई यात्रा करने वाले यात्रियों को अब अलग से बीमा लेना पड़ सकता है।

ईंधन की कीमतों में संभावित बदलाव

1 अगस्त को हर महीने की तरह रसोई गैस (LPG), कंप्रेस्ड नैचुरल गैस (CNG), पाइप्ड गैस (PNG), और एविएशन टरबाइन फ्यूल (ATF) की कीमतों की समीक्षा की जाएगी। वैश्विक तेल कीमतों और घरेलू बाजार की स्थितियों के आधार पर इन दरों में बदलाव संभव है। यदि दाम बढ़ते हैं, तो घरेलू बजट और ट्रांसपोर्ट खर्च बढ़ सकते हैं; वहीं, कटौती होने पर कुछ राहत मिल सकती है।

वित्तीय बाजारों में ट्रेडिंग घंटे बढ़े

भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) ने अपनी दो-चरणीय योजना के तहत कुछ प्रमुख बाजारों के ट्रेडिंग घंटे बढ़ा दिए हैं:

  • 1 जुलाई से: कॉल मनी मार्केट का समय 9:00 AM से 7:00 PM तक किया गया था।

  • अब 1 अगस्त से: मार्केट रेपो और ट्राई-पार्टी रेपो (TREPs) का समय 9:00 AM से 4:00 PM तक रहेगा।

इससे बैंकों और वित्तीय संस्थानों को अल्पकालिक फंड प्रबंधन के लिए अधिक समय मिलेगा, जिससे तरलता और बाजार की कार्यकुशलता बेहतर होगी।

RBI मौद्रिक नीति बैठक जल्द

RBI की मौद्रिक नीति समिति (MPC) की अगली बैठक 4 से 6 अगस्त 2025 तक आयोजित होगी। इसमें यह निर्णय लिया जाएगा कि रेपो दर (RBI द्वारा बैंकों को दिए जाने वाले ऋण की ब्याज दर) में कोई बदलाव किया जाए या नहीं।

  • रेपो दर बढ़ने पर: लोन महंगे होंगे, लेकिन महंगाई पर नियंत्रण मिलेगा।

  • रेपो दर घटने पर: कर्ज सस्ते होंगे (EMI कम हो सकती है), लेकिन फिक्स्ड डिपॉज़िट रिटर्न भी घट सकते हैं।

निष्कर्ष:

अगस्त 2025 का पहला सप्ताह आम लोगों की वित्तीय ज़िंदगी को प्रभावित करने वाले कई बदलाव ला रहा है:

  • डिजिटल पेमेंट यूजर्स को नए UPI नियमों के अनुरूप ढलना होगा।

  • SBI कार्डधारकों को अब एयर एक्सीडेंट बीमा अलग से लेना पड़ सकता है।

  • गैस और ईंधन की कीमतों में बदलाव घरेलू बजट को प्रभावित करेगा।

  • ट्रेडर्स को लंबे समय तक बाजार में काम करने का मौका मिलेगा।

  • और कुछ ही दिनों में RBI यह तय करेगा कि आपके लोन और डिपॉज़िट की दरें बढ़ेंगी या घटेंगी।

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