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अभिजीत शेठ राष्ट्रीय आयुर्विज्ञान आयोग के नए अध्यक्ष बने

केंद्र सरकार ने डॉ. अभिजीत शेठ को राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग (NMC) का नया अध्यक्ष नियुक्त किया है। यह नियुक्ति उस समय हुई है जब आयोग पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोपों के चलते जांच चल रही है। डॉ. अभिजीत शेठ इससे पहले नेशनल बोर्ड ऑफ एग्जामिनेशन्स इन मेडिकल साइंसेज़ (NBEMS) के अध्यक्ष थे, जो NEET-PG जैसी प्रमुख मेडिकल परीक्षाएं आयोजित करता है।

परिवर्तन की आवश्यकता क्यों पड़ी?

राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग भारत में चिकित्सा शिक्षा की निगरानी करने वाली सर्वोच्च संस्था है। यह सुनिश्चित करता है कि डॉक्टरों की ट्रेनिंग और मेडिकल कॉलेजों का संचालन निष्पक्ष और गुणवत्ता-पूर्ण हो। अक्टूबर 2024 में तत्कालीन अध्यक्ष डॉ. बी. एन. गंगाधर ने इस्तीफा दे दिया था, लेकिन नियुक्तियों की कमी के कारण उनका इस्तीफा स्वीकार नहीं किया गया और वे पद पर बने रहे। कई महीनों तक नए अध्यक्ष की नियुक्ति नहीं हो सकी, जबकि मंत्रिमंडलीय नियुक्ति समिति को कई बार सूची भेजी गई।

अंततः जुलाई 2025 में सरकार ने डॉ. अभिजीत शेठ को एनएमसी प्रमुख नियुक्त किया। फिलहाल वे कुछ महीनों तक NBEMS के अध्यक्ष बने रहेंगे, क्योंकि अगस्त 2025 में NEET-PG परीक्षा आयोजित की जानी है। परीक्षा के बाद वे पूरी तरह NMC की जिम्मेदारी संभालेंगे।

भ्रष्टाचार के मामले ने बढ़ाई चिंता

हाल ही में सीबीआई ने एनएमसी में भ्रष्टाचार के आरोपों को लेकर एक प्राथमिकी (FIR) दर्ज की है। इसमें मेडिकल कॉलेजों की निरीक्षण रिपोर्ट लीक करने, फर्जी स्टाफ और मरीजों के उपयोग, और निजी कॉलेजों को लाभ पहुंचाने के लिए रिश्वत लेने जैसे गंभीर आरोप लगे हैं। इस एफआईआर में डॉ. गंगाधर का नाम नहीं है, लेकिन इसमें 34 लोगों को आरोपी बनाया गया है, जिनमें शामिल हैं:

  • पूर्व यूजीसी अध्यक्ष डॉ. डी. पी. सिंह

  • स्वास्थ्य मंत्रालय और एनएमसी के अधिकारी

  • निरीक्षण टीम के सदस्य

  • कई निजी मेडिकल कॉलेजों के प्रतिनिधि

इस मामले ने देश में मेडिकल कॉलेजों की मान्यता और निरीक्षण प्रक्रिया पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।

नई जिम्मेदारी, नई उम्मीदें

अब डॉ.अभिजीत शेठ पर दोहरी जिम्मेदारी है—NEET-PG परीक्षा का सफल संचालन और भ्रष्टाचार के आरोपों से जूझ रहे NMC को पारदर्शी और प्रभावी संस्था बनाना। चिकित्सा शिक्षा में सुधार और निरीक्षण प्रक्रिया को विश्वसनीय बनाने की दिशा में यह नियुक्ति महत्वपूर्ण मानी जा रही है।

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