हर साल 10 नवंबर को पूरी दुनिया विश्व शांति और विकास के लिए विश्व विज्ञान दिवस मनाती है। इसे यूनेस्को (UNESCO) ने 2001 में स्थापित किया था। इस दिवस का उद्देश्य यह दिखाना है कि विज्ञान किस तरह से शांति को बढ़ावा देता है, वैश्विक चुनौतियों का समाधान करता है और मानव जीवन को बेहतर बनाता है।
“Trust, Transformation, and Tomorrow: The Science We Need for 2050”
(विश्वास, परिवर्तन और भविष्य: 2050 के लिए आवश्यक विज्ञान)
यह थीम छात्रों और युवाओं को प्रेरित करती है कि वे वैज्ञानिक सोच और रचनात्मकता के माध्यम से एक अधिक शांतिपूर्ण और टिकाऊ विश्व बनाने में सक्रिय भूमिका निभाएँ।
यह दिवस विज्ञान और समाज के बीच संबंध को मजबूत करता है ताकि वैज्ञानिक प्रगति केवल वैज्ञानिक समुदाय तक सीमित न रह जाए, बल्कि आम जनता तक पहुँचे और उनके जीवन को बेहतर बनाए।
यह दिवस निम्न बातों पर ज़ोर देता है —
जलवायु परिवर्तन, सार्वजनिक स्वास्थ्य और संसाधन प्रबंधन जैसे वैश्विक मुद्दों पर विज्ञान का प्रभाव
वैज्ञानिक ज्ञान को आगे बढ़ाने के लिए राष्ट्रों और संस्कृतियों के बीच सहयोग की आवश्यकता
विज्ञान शिक्षा की भूमिका — शांति, सहिष्णुता और सतत विकास को बढ़ावा देने में
विज्ञान को अक्सर कठिन और तकनीकी विषय माना जाता है, लेकिन यह दिवस छात्रों को बताता है कि —
विज्ञान हर जगह है — मोबाइल फ़ोन, कृषि, दवा, पर्यावरण, ऊर्जा आदि में।
यह सवाल पूछने और समस्याएँ सुलझाने की सोच विकसित करता है।
विज्ञान उन्हें ज्ञान के माध्यम से असमानताओं, स्वास्थ्य संकटों और पर्यावरणीय क्षति से निपटने की शक्ति देता है।
यह केवल एक करियर नहीं, बल्कि परिवर्तन का साधन है — और छात्रों के विचार महत्वपूर्ण हैं।
विज्ञान और नवाचार ऐसे समाधानों का निर्माण करते हैं जो संघर्ष के मूल कारणों — जैसे संसाधनों की कमी, जलवायु आपदाएँ और स्वास्थ्य संकट — को कम करते हैं।
यह राष्ट्रों के बीच सहयोग और विश्वास को भी बढ़ावा देता है।
उदाहरण के लिए —
कृषि में नवाचार से खाद्य संकट रोका जा सकता है।
टीकाकरण और स्वास्थ्य अनुसंधान से महामारी नियंत्रित होती हैं।
अक्षय ऊर्जा तकनीक पर्यावरण को संरक्षित रखती है।
छात्र निम्न तरीकों से इस दिवस को सार्थक बना सकते हैं —
विज्ञान मेले या प्रदर्शनियाँ आयोजित करना जिनका विषय “शांति और विज्ञान” हो।
कार्यशालाएँ और चर्चाएँ आयोजित करना कि विज्ञान वैश्विक समस्याओं को कैसे सुलझा सकता है।
सोशल मीडिया पर विज्ञान से जुड़ी जानकारी और तथ्य साझा करना।
वैज्ञानिकों या पर्यावरणविदों के साथ संवाद सत्र आयोजित करना।
छोटे प्रयोग या नवाचार प्रोजेक्ट तैयार करना।
इन गतिविधियों से छात्रों को यह समझने में मदद मिलती है कि उनकी जिज्ञासा और मेहनत मानवता और पृथ्वी की भलाई में योगदान देती है।
विज्ञान एक सतत यात्रा है — और छात्र इस यात्रा के भविष्य हैं।
वे आने वाले संकटों और अवसरों का सामना करने के लिए वैज्ञानिक सोच, तथ्यों और नवाचार के माध्यम से समाधान तैयार करेंगे।
युवा वर्ग के सामने यह ज़िम्मेदारी है कि —
वे विज्ञान में विश्वास बढ़ाएँ,
भ्रम और गलत जानकारी का मुकाबला करें,
और सत्य, अनुसंधान और सहयोग के माध्यम से समाज में सुधार लाएँ।
| बिंदु | विवरण |
|---|---|
| दिवस का नाम | विश्व शांति और विकास के लिए विश्व विज्ञान दिवस (World Science Day for Peace and Development) |
| तारीख | 10 नवंबर |
| स्थापना | यूनेस्को द्वारा, वर्ष 2001 में |
| 2025 की थीम | “Trust, Transformation, and Tomorrow: The Science We Need for 2050” |
| मुख्य उद्देश्य | विज्ञान को समाज से जोड़ना, शांति और सतत विकास को बढ़ावा देना |
| छात्रों के लिए संदेश | विज्ञान को समझना, प्रयोग करना और दुनिया को बेहतर बनाने में योगदान देना |
| महत्व | विज्ञान में सार्वजनिक विश्वास बढ़ाना और शिक्षा के माध्यम से गलत सूचना का मुकाबला करना |
यूनाइटेड नेशंस (UN) एक बड़े इंस्टीट्यूशनल सिस्टम के ज़रिए काम करता है जिसे UN सिस्टम…
मिजोरम के पूर्व राज्यपाल और वरिष्ठ अधिवक्ता स्वराज कौशल का 4 दिसंबर 2025 को 73…
भारत विश्व की कुल जैव विविधता का लगभग 8% हिस्सा अपने भीतर समेटे हुए है।…
भारत में आधार का उपयोग लगातार तेजी से बढ़ रहा है। नवंबर 2025 में, आधार…
रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड (RIL) ने 3 दिसंबर 2025 को घोषणा की कि फ्लिपकार्ट के वरिष्ठ…
पूर्वोत्तर भारत में कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) के उपयोग को बढ़ाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण…