विश्व प्रकृति संरक्षण दिवस 2024: इतिहास और महत्व

विश्व प्रकृति संरक्षण दिवस 2024 रविवार, 28 जुलाई को मनाया जाएगा। हर साल मनाया जाने वाला विश्व प्रकृति संरक्षण दिवस पर्यावरण के प्रति हमारी सामूहिक जिम्मेदारी की एक शक्तिशाली याद दिलाता है। यह वैश्विक आयोजन प्राकृतिक संसाधनों के संरक्षण और हमारे ग्रह के नाजुक पारिस्थितिकी तंत्र की रक्षा करने की महत्वपूर्ण आवश्यकता पर जोर देता है। जैसे-जैसे हम 2024 के पालन के करीब पहुंच रहे हैं, तेजी से डिजिटल होती दुनिया में संरक्षण के लिए अभिनव तरीकों पर ध्यान केंद्रित किया जा रहा है।

विश्व प्रकृति संरक्षण दिवस 2024-थीम

2024 का थीम है “लोगों और पौधों को जोड़ना, वन्यजीव संरक्षण में डिजिटल नवाचार की खोज करना।” यह दूरदर्शी थीम प्रौद्योगिकी और प्रकृति संरक्षण के प्रतिच्छेदन पर प्रकाश डालती है, पर्यावरण संरक्षण प्रयासों को आगे बढ़ाने में डिजिटल उपकरणों की क्षमता को पहचानती है।

विश्व प्रकृति संरक्षण दिवस का महत्व

प्रकृति हमारे जीवन का प्रमुख आधार है। इसके बिना मनुष्य जीवित रहना नामुमकिन है। ऑक्सीजन, पानी और भोजन मानवीय जीवन की मूलभूत आवश्यकताएं हैं, लेकिन ये हमें तब आसानी से प्राप्त होंगी जब हम प्रकृति का संरक्षण करेंगे। लेकिन मानव ने अपने स्वार्थ के लिए इसका विनाश करना जारी रखा है और इसका परिणाम वर्तमान में हमें भुगतना पड़ रहा है। बढ़ते जल और वायु प्रदूषण के कारण हमें पीने के लिए अच्छा पानी प्राप्त नहीं हो रहा है। बढ़ते वायु प्रदूषण के कारण हम खुली हवा में सांस तक नहीं ले सकते। नए-नए प्रोजेक्ट बनाने के लिए जंगल में पेड़ों की सरासर कटाई हो रही है और इसकी वजह से तापमान अधिक बढ़ रहा है।

विश्व प्रकृति संरक्षण दिवस इतिहास

विश्व प्रकृति संरक्षण दिवस मनाने की परंपरा 20वीं सदी से शुरू हुई थी। उस दौरान नए-नए तकनीकी विकास हो रहे थे और युग बड़ी तेजी से बदल रहा था। लेकिन इसके साथ ही पृथ्वी के संसाधनों का भी मनुष्य द्वारा बड़े पैमाने पर नुकसान हो रहा था। इस बात को ध्यान में रखते हुए, साल 1972 में स्वीडन के स्टॉकहोम शहर में पहले अंतरराष्ट्रीय पर्यावरण सम्मेलन का आयोजन किया गया था। इस सम्मेलन में प्रकृति को होने वाले नुकसान के बारे में चिंता व्यक्त की गई और प्रकृति के संरक्षण के महत्व पर जोर दिया गया।

प्रकृति का संरक्षण और इसकी जागरूकता बढ़ाने के उद्देश्य से 1980 से 1990 के दशक में प्रकृति को होने वाले नुकसान को रोकने के लिए विभिन्न अभियान और कार्यक्रमों का आयोजन किया गया। इसी दौर में हर साल यह दिन वैश्विक स्तर पर पर्यावरण दिवस जैसा यह भी दिन मनाने की परंपरा शुरू हो गई।

[wp-faq-schema title="FAQs" accordion=1]
vikash

Recent Posts

RBI ने अकाउंट एग्रीगेटर्स के लिए स्व-नियामक संगठन (एसआरओ) की रूपरेखा जारी की

भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) ने खाता एग्रीगेटर (AA) पारिस्थितिकी तंत्र के लिए स्व-नियामक संगठन (SRO)…

7 hours ago

विश्व उपभोक्ता अधिकार दिवस 2025: थीम, इतिहास और महत्व

विश्व उपभोक्ता अधिकार दिवस हर वर्ष 15 मार्च को उपभोक्ताओं के अधिकारों को बढ़ावा देने…

8 hours ago

वित्त वर्ष 2025-26 में GDP ग्रोथ रेट 6.5% से अधिक रहने का अनुमान: मूडीज

मूडीज़ रेटिंग्स, एक वैश्विक क्रेडिट रेटिंग एजेंसी, ने अनुमान लगाया है कि भारत की आर्थिक…

8 hours ago

एन गणपति सुब्रमण्यम को टाटा कम्युनिकेशंस का चेयरमैन नियुक्त किया गया

टाटा कम्युनिकेशंस ने आधिकारिक रूप से घोषणा की है कि एन गणपति सुब्रमण्यम (NGS) को…

11 hours ago

चीन का 5,000 किमी रडार: क्या यह भारत की रक्षा के लिए चुनौती है?

चीन ने हाल ही में युन्नान प्रांत में लार्ज फेज़ड अरे रडार (LPAR) प्रणाली तैनात…

11 hours ago

Google ने लॉन्च किया ‘जेम्मा 3’ AI मॉडल

गूगल ने हाल ही में Gemma 3 लॉन्च किया है, जो इसकी हल्के और उन्नत…

16 hours ago