स्विट्जरलैंड और भारत ने 16 साल की लंबी बातचीत के बाद आखिरकार एक मुक्त व्यापार समझौते (एफटीए) पर मुहर लगा दी है। यह घोषणा स्विस अर्थव्यवस्था मंत्री गाइ पार्मेलिन की ओर से की गई, जो दावोस में विश्व आर्थिक मंच में भाग लेने के बाद, अपने समकक्ष पीयूष गोयल के साथ महत्वपूर्ण चर्चा के लिए तेजी से भारत आए।
लंबी वार्ता दोनों देशों के बीच राजनयिक और आर्थिक संबंधों में एक ऐतिहासिक उपलब्धि का संकेत देती है। एफटीए मजबूत संबंधों और आर्थिक सहयोग को बढ़ावा देने की अपार संभावनाएं रखता है।
मुक्त व्यापार किसी भी प्रकार की व्यापार नीतियों का निषेध है और इसके लिये किसी सरकार को कोई विशेष कार्रवाई करने की आवश्यकता नहीं है। इसे व्यापार उदारीकरण (Laissez-faire Trade) के रूप में जाना जाता है।
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