भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने कहा कि 2022-23 में भारतीय राज्यों के वित्त में सुधार होने का अनुमान है। राज्यों की वित्तीय स्थिति में 2020-21 के दौरान महामारी-प्रेरित गिरावट की स्थिति से वैविध्यपूर्ण आर्थिक बहाली और उच्च राजस्व संग्रह के परिणामस्वरूप सुधार हुआ है। राज्यों के सकल राजकोषीय घाटे (जीएफ़डी) का 2020-21 में सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) के 4.1 प्रतिशत से घटकर 2022-23 में 3.4 प्रतिशत रहने का अनुमान है।
Buy Prime Test Series for all Banking, SSC, Insurance & other exams
राज्यों का ऋण, 2020-21 में जीडीपी के 31.1 प्रतिशत की तुलना में 2022-23 में 29.5 प्रतिशत तक कम होने का अनुमान है, अभी भी यह एफ़आरबीएम समीक्षा समिति, 2018 (अध्यक्ष: श्री एन. के. सिंह) द्वारा अनुशंसित 20 प्रतिशत से अधिक है, जो ऋण समेकन की प्राथमिकता की आवश्यकता को दर्शाता है।
Find More News on Economy Here
[wp-faq-schema title="FAQs" accordion=1]
भारत ने चिकित्सा क्षेत्र में एक ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल करते हुए एम्स (AIIMS) दिल्ली में…
एक महत्वपूर्ण कूटनीतिक और पर्यावरणीय जीत के रूप में, “वनाग्नि (Wildfires) के वैश्विक प्रबंधन को…
वैश्विक पासपोर्ट रैंकिंग 2025 के लिए जारी कर दी गई है, जो यह दर्शाती है…
यूनेस्को ने वैश्विक सांस्कृतिक विविधता के संरक्षण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए…
भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) ने ‘बैंकों द्वारा कैश क्रेडिट खाते, चालू खाते और ओवरड्राफ्ट खातों…
भारत के उपराष्ट्रपति सी. पी. राधाकृष्णन ने 14 दिसंबर 2025 को सम्राट पेरुमबिदुगु मुथारैयार द्वितीय…