सरकार ने छोटी जमा योजनाओं पर ब्याज दरों में बढ़ोतरी की घोषणा की है। इनमें पोस्ट ऑफिस सावधि जमा, एनएससी (नेशनल सेविंग सर्टिफिकेट) और वरिष्ठ नागरिक बचत योजना शामिल हैं। अर्थव्यवस्था में ब्याज दरों में मजबूती के तहत एक जनवरी से इन जमा योजनाओं की ब्याज दर 1.1 प्रतिशत तक बढ़ाने की घोषणा की गई है।
Buy Prime Test Series for all Banking, SSC, Insurance & other exams
हालांकि, पब्लिक प्रॉविडेंट फंड (पीपीएफ) और बालिका बचत योजना सुकन्या समृद्धि पर ब्याज दरों में बदलाव नहीं किया गया है। राष्ट्रीय बचत प्रमाणपत्र (एनएससी) पर एक जनवरी से सात फीसदी ब्याज मिलेगा फिलहाल यह 6.8 फीसदी है। इसी तरह, वरिष्ठ नागरिक बचत योजना पर वर्तमान के 7.6 प्रतिशत के मुकाबले 8 प्रतिशत ब्याज मिलेगा।
वित्त मंत्रालय के नोटिफिकेशन के अनुसार, 1 जनवरी से 31 मार्च तक वित्त वर्ष 2022-23 की चौथी तिमाही के लिए कुछ बचत स्कीम पर ब्याज दरों में 0.20 से 1.10 फीसदी तक की बढ़ोतरी की गई है। केंद्र सरकार की ओर से छोटी जमा बचत योजनाओं की ब्याज दरों में यह इजाफा जनवरी से मार्च तिमाही के लिए किया गया है।
राष्ट्रीय बचत प्रमाणपत्र (NSC) पर 1 जनवरी से 7 फीसदी की दर से ब्याज मिलेगा, जबकि अभी यह 6.8 फीसदी है। इसी तरह, वरिष्ठ नागरिक बचत योजना में निवेश पर 1 जनवरी से 8 फीसदी की दर से ब्याज मिलेगा, फिलहाल ये 7.6 फीसदी है।
सरकार ने पोस्ट ऑफिस की एक साल की सेविंग्स स्कीम पर ब्याज दरों को बढ़ाकर 6.6% कर दिया है जो पहले 5.5 प्रतिशत थी। जबकि 2 साल की स्कीम पर 6.8% की दर से ब्याज मिलेगा, जो पहले 5.7 प्रतिशत था। 3 साल की स्कीम पर ब्याज दर बढ़कर 6.9% कर दी गई है, जो पहले 5.8 प्रतिशत थी। वहीं, पांच साल की स्कीम पर 7% की दर से ब्याज मिलेगा, यह पहले 6.7 प्रतिशत था।
किसान विकास पत्र के ब्याज दर में सरकार ने इजाफा किया है। 123 महीने के लिए किसान विकास पत्र पर दिसंबर तिमाही में 7% का ब्याज दर मिल रहा था जो अब 123 महीने की अवधि पर 7.2% फीसदी की दर से ब्याज मिलेगा।
सरकार ने सार्वजनिक भविष्य निधि (PPF) और सुकन्या समृद्धि योजना (SSY) जैसी छोटी बचत योजनाओं की ब्याज दरों को जनवरी-मार्च तिमाही के लिए संशोधित नहीं किया गया है। PPF को दिसंबर तिमाही की तरह मार्च तिमाही में भी 7.1% के लेवल पर बरकरार है, साथ ही बेटियों के लिए शुरू की गई सुकन्या समृद्धि योजना पर भी ब्याज दर को 7.6 प्रतिशत पर यथावत रखा गया है।
केंद्र सरकार हर तिमाही आधार पर छोटी बचत योजनाओं की ब्याज दरों की समीक्षा करती है, जिस पर अंतिम रूप से वित्त मंत्रालय ये फैसला लेता है।छोटी बचत योजनाओं के लिए ब्याज दर निकालने का फॉर्मूला श्यामला गोपीनाथ कमेटी ने दिया था। समिति के सुझावों के अनुसार विभिन्न योजनाओं की ब्याज दरें समन मैच्यरोरिटी वाले केंद्र सरकार के बॉन्ड प्रतफिलों से 25 से 100 बीपीएस अधिक होनीं चाहिए।
Find More News Related to Agreements
[wp-faq-schema title="FAQs" accordion=1]
भारत की महिला हॉकी टीम ने वीमेंस एशियन चैंपियंस ट्रॉफी के फाइनल में चीन को…
भारत ने अपनी पहली कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) डेटा बैंक की शुरुआत की है, जो नवाचार…
20 नवंबर 2024 को, केंद्र सरकार ने कानून और न्याय मंत्रालय के माध्यम से एक…
सी.आर. पाटिल, माननीय जल शक्ति मंत्री ने इंडिया वॉटर वीक 2024 के समापन समारोह के…
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को कोविड-19 महामारी के दौरान उनके महत्वपूर्ण योगदान और भारत व कैरेबियाई…
19 नवंबर 2024 को भारत सरकार की सौर ऊर्जा निगम लिमिटेड (SECI) और H2Global Stiftung…