भारत सरकार ने COVID-19 संबंधित अधिस्थगन (moratorium) पर ब्याज पर छूट और ब्याज माफी से संबंधित बैंक उधारकर्ताओं को राहत का समग्र मूल्यांकन करने के लिए एक विशेषज्ञ समिति का गठन किया है। भारतीय स्टेट बैंक समिति को सचिवीय सहायता प्रदान करेगा। इस उद्देश्य पूर्ति के लिए समिति बैंकों या अन्य हितधारकों से परामर्श कर सकती है, जैसा कि आवश्यक समझा जाता है।।
विशेषज्ञ समिति निम्नानुसार होगी:
- राजीव महर्षि, भारत के पूर्व सीएजी- प्रमुख
- रविंद्र एच. ढोलकिया, पूर्व प्रोफेसर, आईआईएम अहमदाबाद और भारतीय रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समिति के पूर्व सदस्य
- बी. श्रीराम, पूर्व प्रबंध निदेशक, भारतीय स्टेट बैंक और आईडीबीआई बैंक
समिति के संदर्भ की शर्तें निम्नानुसार होंगी:
- यह समिति कर्जदारों को ब्याज से राहत देने और कोविड-19 के कारण ऋण स्थगन से राष्ट्रीय अर्थव्यवस्था और वित्तीय स्थिरता पर पड़ने वाले प्रभाव का आकलन करेगी
- इस संबंध में समाज के विभिन्न वर्गों को होने वाली वित्तीय मुश्किलें कम करने के उपाय भी सुझाएगी
- वर्तमान स्थिति को देखते हुए आवश्यक सुझाव दिए जा सकते हैं।



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