दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति ली ने हाल ही में अपने मंत्रिमंडल की घोषणा की है, जो देश के लोकतांत्रिक संस्थानों में जनता का विश्वास बहाल करने की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम माना जा रहा है। यह घटनाक्रम पूर्व राष्ट्रपति यूं सुक-योल द्वारा दिसंबर 2024 में घोषित मार्शल लॉ और उसके कारण अप्रैल 2025 में उनके पद से हटाए जाने के बाद आया है।
प्रमुख मंत्रिमंडलीय नियुक्तियाँ
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आन ग्यू-बैक – रक्षा मंत्री
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एक वरिष्ठ सांसद और नागरिक।
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1961 के बाद पहले गैर-सैन्य रक्षा मंत्री।
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चो ह्यून – विदेश मंत्री
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संयुक्त राष्ट्र में कोरिया के पूर्व राजदूत।
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कूटनीतिक छवि बहाल करने पर जोर।
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चुंग डोंग-यंग – एकीकरण मंत्री
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उत्तर कोरिया के साथ संवाद और शांति के समर्थक।
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अन्य मंत्री पदों पर नियुक्तियाँ:
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कृषि, पर्यावरण, श्रम, और समुद्री मामलों के लिए भी नए मंत्रियों की घोषणा।
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पृष्ठभूमि
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पूर्व राष्ट्रपति यूं सुक-योल ने दिसंबर 2024 में मार्शल लॉ लागू किया, जिसके कारण उन्हें महाभियोग झेलना पड़ा।
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तत्कालीन रक्षा मंत्री किम योंग-ह्युन पर विद्रोह के आरोप में मुकदमा चल रहा है।
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राष्ट्रपति ली ने 4 जून 2025 को पदभार संभाला, और शुरुआत में उन्हें यूं के पुराने कैबिनेट के साथ काम करना पड़ा क्योंकि कोई संक्रमण अवधि नहीं दी गई थी।
कैबिनेट फेरबदल के उद्देश्य
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प्रमुख सरकारी पदों का असैनिककरण — सैन्य प्रभाव को कम करना।
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संविधान संकट के बाद भरोसा बहाल करना।
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आर्थिक कूटनीति पर केंद्रित व्यावहारिक विदेश नीति को बढ़ावा देना।
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अमेरिका के साथ व्यापार तनावों को कुशलता से संभालने के लिए रणनीतिक स्थिति मजबूत करना।
व्यापक प्रभाव
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राष्ट्रपति ली के निर्णयों से नागरिक नियंत्रण वाली लोकतांत्रिक व्यवस्था को मजबूती मिलेगी।
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गैर-सैन्य रक्षा मंत्री की नियुक्ति से सैन्य संचालन में पारदर्शिता बढ़ने की उम्मीद।
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अनुभवी राजनयिकों की नियुक्तियों से अमेरिका में राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा लगाए गए नए टैरिफ जैसे वैश्विक व्यापार संकटों के बीच दक्षिण कोरिया की विदेश नीति में नया संतुलन आएगा।