रूडी बनाम बालियान की जंग
यह चुनाव सिर्फ नतीजे के लिए ही नहीं, बल्कि बीजेपी के आंतरिक समीकरणों को उजागर करने के कारण भी चर्चा में रहा। दोनों ही उम्मीदवार पार्टी के वरिष्ठ नेता हैं, और इस मुकाबले ने पार्टी के भीतर स्पष्ट गुटबाजी की झलक दिखाई। बालियान, जो मुजफ्फरनगर से पूर्व सांसद और केंद्रीय मंत्री रह चुके हैं, को शीर्ष बीजेपी नेतृत्व के साथ-साथ अन्य दलों के नेताओं का भी समर्थन मिला था।
संविधान क्लब ऑफ इंडिया (CCI) क्या है?
फरवरी 1947 में स्थापित संविधान क्लब ऑफ इंडिया, संसद भवन के पास रफी मार्ग पर स्थित है। यह वर्तमान और पूर्व सांसदों के लिए एक सामाजिक और पेशेवर मंच है, जहां अलग-अलग दलों के नेता आपसी मेलजोल और नेटवर्किंग कर सकते हैं।
क्लब का प्रमुख लोकसभा अध्यक्ष (एक्स-ऑफिसियो अध्यक्ष) होता है, जबकि उपाध्यक्ष (डिप्टी स्पीकर) महासचिव के रूप में कार्य करते हैं। इसके अलावा एक केंद्रीय मंत्री और राज्यसभा के उपसभापति इसके उपाध्यक्षों में शामिल होते हैं। 1,200 से अधिक सदस्यों वाला यह संस्थान दिल्ली के राजनीतिक हलके का एक प्रमुख केंद्र माना जाता है।
अन्य महत्वपूर्ण नियुक्तियां
रूडी के साथ ही कई अन्य पदों पर चुनाव हुए—कुछ सदस्यों का चयन बिना विरोध के नामांकन वापसी के कारण हुआ, जैसे:
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राज्यसभा सांसद तिरुचि शिवा – सचिव (संस्कृति)
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राजीव शुक्ला – सचिव (खेल)
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ए. पी. जितेंदर रेड्डी (तेलंगाना) – कोषाध्यक्ष; वर्तमान में दिल्ली में तेलंगाना सरकार के विशेष प्रतिनिधि
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11 समिति सदस्यों का भी चुनाव हुआ, जिसके लिए 14 नामांकन दाखिल किए गए थे।