पिंक सहेली कार्ड: दिल्ली की महिलाओं और ट्रांसजेंडर समुदाय को सशक्त बनाने वाला मुफ्त स्मार्ट ट्रैवल पास

दिल्ली सरकार ने 2025 के अंत में मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता के दूरदर्शी नेतृत्व में “पिंक सहेली कार्ड” योजना की शुरुआत की, जिसने राजधानी में महिलाओं और ट्रांसजेंडर नागरिकों के लिए शहरी यात्रा को नई दिशा दी है। 12 वर्ष या उससे अधिक आयु के लिए जारी यह स्मार्ट ट्रैवल पास दिल्ली परिवहन निगम (DTC) और क्लस्टर बसों में असीमित मुफ्त यात्रा की सुविधा प्रदान करता है। यह पहल सुरक्षा, समानता और किफ़ायत पर आधारित एक समावेशी परिवहन व्यवस्था की ओर बड़ा कदम है।

पिंक सहेली कार्ड क्यों है गेम-चेंजर?

इस योजना का मूल उद्देश्य उन दो समूहों को सशक्त बनाना है जिन्हें सार्वजनिक परिवहन में अक्सर नज़रअंदाज़ किया जाता है — महिलाएं और ट्रांसजेंडर व्यक्ति। मुफ्त यात्रा की सुविधा से दैनिक आवागमन का आर्थिक बोझ समाप्त हो जाता है, जिससे बेटियां, बहनें और माताएं बिना चिंता के सफर कर सकती हैं।

पहले के कागज़ आधारित पासों की जगह यह डिजिटल स्मार्ट कार्ड सुरक्षा और पारदर्शिता दोनों सुनिश्चित करता है। इसमें धारक का नाम और फ़ोटो अंकित होता है, जिससे दुरुपयोग की संभावना कम होती है।

तकनीकी दृष्टि से, यह कार्ड नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड (NCMC) प्लेटफ़ॉर्म पर आधारित है — यानी भविष्य में इसे दिल्ली मेट्रो और अन्य सार्वजनिक परिवहन से जोड़कर एकीकृत यात्रा अनुभव प्रदान किया जाएगा।

सरकार ने यह योजना क्यों शुरू की?

दिल्ली में बढ़ते ट्रैफिक जाम, प्रदूषण और सुरक्षा चिंताओं ने लंबे समय से नागरिकों की यात्रा को चुनौतीपूर्ण बना दिया है।
पिंक सहेली योजना इन तीनों समस्याओं को एक साथ संबोधित करती है —

  • महिलाओं और ट्रांसजेंडर समुदाय को सार्वजनिक परिवहन की ओर आकर्षित करती है,

  • निजी वाहनों पर निर्भरता कम करती है,

  • और प्रदूषण में कमी लाती है।

साथ ही, यह योजना सुरक्षा और सम्मान के प्रति सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाती है। पब्लिक ट्रांसपोर्ट में होने वाली छेड़छाड़ और असुविधाओं के कारण जो महिलाएं यात्रा से कतराती थीं, अब वे निश्चिंत होकर बसों में सफर कर सकेंगी।

पिंक सहेली कार्ड कैसे प्राप्त करें?

इसका आवेदन प्रक्रिया सरल और पारदर्शी है।

  • दिल्ली की निवासी महिलाएं और ट्रांसजेंडर व्यक्ति (12 वर्ष या उससे अधिक आयु) ऑनलाइन सरकारी पोर्टल पर आवेदन कर सकते हैं।

  • इसके अलावा, यह सुविधा चयनित DTC कार्यालयों में भी उपलब्ध है।

  • आवेदन के लिए पहचान और निवास का प्रमाण आवश्यक है। सत्यापन के बाद व्यक्तिगत फोटो और नाम वाला कार्ड जारी किया जाता है, जो सभी DTC और क्लस्टर बसों में मान्य है।

दिल्ली के भविष्य के लिए इसका क्या अर्थ है?

“पिंक सहेली कार्ड” दिल्ली के स्मार्ट, सुरक्षित और समावेशी शहरी विकास की दिशा में ऐतिहासिक कदम है। यह न केवल महिलाओं और ट्रांसजेंडर समुदाय को सशक्त बनाता है, बल्कि पर्यावरणीय और यातायात प्रबंधन के लिए भी नई राह खोलता है।

यह योजना दर्शाती है कि सार्वजनिक नीति (Public Policy) जब समानता और प्रौद्योगिकी दोनों पर आधारित हो, तो वह सामाजिक परिवर्तन की वास्तविक शक्ति बन सकती है।

भविष्य में जब यह कार्ड मेट्रो और अन्य यातायात सेवाओं से जुड़ जाएगा, तो दिल्ली के लाखों नागरिकों को सुविधा, सुरक्षा और स्वतंत्रता का नया अनुभव मिलेगा।

निष्कर्ष: सशक्तिकरण का प्रतीक

“पिंक सहेली कार्ड” केवल एक यात्रा पास नहीं — बल्कि यह एक घोषणा है कि महिलाएं और ट्रांसजेंडर व्यक्ति इस शहर के बराबर अधिकारों वाले नागरिक हैं। यह योजना न केवल दिल्ली बल्कि पूरे भारत के लिए समानता, सुरक्षा और संवेदनशील शहरी विकास का एक उदाहरण बन सकती है।

[wp-faq-schema title="FAQs" accordion=1]
vikash

Recent Posts

मिज़ोरम के पूर्व राज्यपाल स्वराज कौशल का 73 वर्ष की उम्र में निधन

मिजोरम के पूर्व राज्यपाल और वरिष्ठ अधिवक्ता स्वराज कौशल का 4 दिसंबर 2025 को 73…

40 mins ago

Aadhaar प्रमाणीकरण लेनदेन नवंबर में 8.5 प्रतिशत बढ़कर 231 करोड़ हुए

भारत में आधार का उपयोग लगातार तेजी से बढ़ रहा है। नवंबर 2025 में, आधार…

1 hour ago

जयंद्रन वेणुगोपाल रिलायंस रिटेल वेंचर्स लिमिटेड का चेयरमैन और सीईओ नियुक्त

रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड (RIL) ने 3 दिसंबर 2025 को घोषणा की कि फ्लिपकार्ट के वरिष्ठ…

2 hours ago

मेघालय 2025 में शिलांग में क्षेत्रीय AI इम्पैक्ट कॉन्फ्रेंस की मेज़बानी करेगा

पूर्वोत्तर भारत में कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) के उपयोग को बढ़ाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण…

2 hours ago

भारत की हेरिटेज फ़ुटफ़ॉल रैंकिंग 2024–25: ताजमहल एक बार फिर विज़िटर चार्ट में सबसे ऊपर

भारत की समृद्ध धरोहर, स्थापत्य कला और सांस्कृतिक विविधता हर वर्ष लाखों यात्रियों को आकर्षित…

16 hours ago