“गुजरात की कोकिला” कही जाने वाली जानी-मानी गायिका कौमुदी मुंशी का COVID-19 के कारण निधन। उन्होंने अपने करियर के शुरुआती दौर में ज्यादातर गुजराती गाने गाए, जैसे ‘सच्ची रे मारी सत्रे भवानी माँ’ जिनसे उन्हें लोकप्रियता मिली। इसके अलावा उन्होंने 1963 की फिल्म भोजपुरी फिल्म में बिदेसिया में प्रसिद्ध गायिका गीता दत्त के साथ ‘नीक सैयां बिन’ गाना भी गाया था।
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कौमुदी मुंशी के बारे में
गायक और संगीतकार कौमुदी मुंशी का जन्म वाराणसी में हुआ था। उन्होंने बनारस हिंदू विश्वविद्यालय से संगीत में कला की डिग्री के साथ अपनी शिक्षा पूरी की। उन्होंने सिद्धेश्वरी देवी और ताज अहमद खान जैसे दिग्गजों से प्रशिक्षण लिया था। मुंबई शिफ्ट होने के बाद, उन्हें ऑल इंडिया रेडियो के लिए एक ऑडिशन में चुना गया। उसी दौरान उनकी मुलाकात ऑल इंडिया रेडियो से जुड़े संगीत निर्देशक निनु मजूमदार से हुई थी, जिनसे उन्होंने बाद में शादी कर ली थी।
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