“ऑपरेशन सिंदूर” के तहत की गई जवाबी सैन्य कार्रवाई के बाद, भारत ने 7 मई 2025 को अस्थायी रूप से करतारपुर कॉरिडोर को बंद कर दिया। यह कॉरिडोर भारतीय तीर्थयात्रियों को पाकिस्तान स्थित दरबार साहिब गुरुद्वारे तक वीज़ा-मुक्त पहुँच प्रदान करता है। भारत द्वारा पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) में स्थित आतंकी ठिकानों पर मिसाइल हमले करने के बाद, सुरक्षा कारणों से इसे एक दिन के लिए निलंबित किया गया।
समाचार में क्यों?
7 मई 2025 को भारत ने आतंकवाद के खिलाफ “ऑपरेशन सिंदूर” के तहत पाकिस्तान और PoK में नौ आतंकी शिविरों पर हमले किए। ये कार्रवाई 22 अप्रैल 2025 को पहलगाम (कश्मीर) में हुए आतंकी हमले के जवाब में की गई, जिसमें 26 आम नागरिक मारे गए थे। इसके चलते करतारपुर कॉरिडोर को एक दिन के लिए बंद कर दिया गया, जिससे सिख श्रद्धालुओं की नियमित तीर्थ यात्रा प्रभावित हुई।
करतारपुर कॉरिडोर – पृष्ठभूमि और उद्देश्य
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उद्घाटन: 9 नवंबर 2019, गुरु नानक देव जी की 550वीं जयंती पर
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उद्देश्य: भारतीय तीर्थयात्रियों को वीज़ा-मुक्त तरीके से पाकिस्तान स्थित करतारपुर साहिब तक पहुँचने की सुविधा देना
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दूरी: भारत-पाकिस्तान सीमा से लगभग 3–4 किमी दूर स्थित दरबार साहिब गुरुद्वारा से जुड़ाव
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भारतीय पक्ष: डेरा बाबा नानक, गुरदासपुर, पंजाब से जुड़ता है
ऑपरेशन सिंदूर – क्या हुआ?
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7 मई 2025 को भारतीय सशस्त्र बलों द्वारा सटीक मिसाइल हमले
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लक्षित ठिकाने: जैश-ए-मोहम्मद (बहावलपुर) और लश्कर-ए-तैयबा (मुरिदके) के आतंकी शिविर
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प्रतिक्रिया: 22 अप्रैल के पहलगाम हमले में 26 नागरिकों की हत्या का जवाब
कॉरिडोर बंद होने का प्रभाव
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डेरा बाबा नानक टर्मिनल पर पहुँचे श्रद्धालुओं को वापस लौटने के लिए कहा गया
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सभी तीर्थयात्रा गतिविधियाँ एक दिन के लिए स्थगित
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सीमा पार सैन्य कार्रवाई के चलते सुरक्षा कारणों से उठाया गया कदम
स्थैतिक जानकारी
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स्थान: गुरदासपुर ज़िला, पंजाब, भारत
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महत्त्व: गुरु नानक देव जी का अंतिम विश्राम स्थल — दरबार साहिब, करतारपुर
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दैनिक तीर्थयात्री सीमा (भारत-पाकिस्तान समझौते अनुसार): 5,000 श्रद्धालु
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वीज़ा आवश्यकता: वीज़ा नहीं, केवल पासपोर्ट और परमिट अनिवार्य