भारतीय राष्ट्रीय नियामक प्राधिकरण ने वैक्सीन विनियमन के लिए WHO के अंतर्राष्ट्रीय मानकों को पूरा किया

केंद्रीय औषध मानक नियंत्रण संगठन (सीडीएससीओ), भारतीय राष्ट्रीय विनियामक प्राधिकरण (एनआरए) और संबद्ध संस्थानों के साथ मिलकर कार्यात्मक वैक्सीन विनियामक प्रणाली के लिए विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) द्वारा प्रकाशित संकेतकों को पूरा किया है। 16 से 20 सितंबर, 2024 तक जिनेवा में डब्ल्यूएचओ मुख्यालय में विभिन्न देशों के अंतरराष्ट्रीय विशेषज्ञों का एक दल भारत की वैक्सीन विनियामक प्रणाली की व्यापक और गहन वैज्ञानिक समीक्षा के बाद इस निष्कर्ष पर पहुंची। वैक्सीन के मूल्यांकन के लिए सुरक्षा, प्रभावकारिता और गुणवत्ता तीन बुनियादी मापदंड हैं।

WHO मूल्यांकन का सारांश

डब्ल्यूएचओ ने उपकरणों और दिशा-निर्देशों के विकास, एनआरए की बेंचमार्किंग और वैक्सीन के अर्हता पूर्व कार्यक्रम के माध्यम से वैक्सीन की गुणवत्ता के आश्वासन के लिए वैश्विक मानक और बेंचमार्क स्थापित किए हैं। डब्ल्यूएचओ एनआरए री-बेंचमार्किंग का उद्देश्य वैक्सीन विनियमन के क्षेत्र में भारत नियामक प्रणाली की स्थिति का आकलन और दस्तावेजीकरण करना, डब्ल्यूएचओ एनआरए ग्लोबल बेंचमार्किंग टूल (जीबीटी) के मुकाबले भारत वैक्सीन नियामक प्रणाली की स्थिति को फिर से बेंचमार्क करना और सिस्टम की परिपक्वता को मापना था। डब्ल्यूएचओ ग्लोबल बेंचमार्किंग टूल संस्करण 6 के सभी मुख्य नियामक कार्यों के लिए भारत को ‘कार्यात्मक’ घोषित किया गया है।

निरंतर सुधार और वैश्विक भूमिका

भारत की वैक्सीन नियामक प्रणाली को वर्ष 2017 में ग्लोबल बेंचमार्किंग टूल (जीबीटी) संस्करण पांच के मुकाबले बेंचमार्क किया गया था, जिसे अब बेंचमार्किंग मानदंडों में बढ़ी हुई बार और कठोरता के साथ जीबीटी छह में संशोधित किया गया है। भारत ने सर्वोच्च अंकों के साथ कई कार्यों में परिपक्वता स्तर 3 बरकरार रखा है। भारत 36 प्रमुख वैक्सीन निर्माण सुविधाओं के साथ एक प्रमुख वैक्सीन उत्पादक है। इन वैक्सीनों का उपयोग राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय बाजार में 150 देशों द्वारा किया जाता है, जो भारत को विश्व भर में एक प्रमुख वैक्सीन आपूर्तिकर्ता बनाता है। डब्ल्यूएचओ अर्हता पूर्व कार्यक्रम (पीक्यूपी) का उद्देश्य उन वैक्सीनों तक पहुंच को सुगम बनाना है जो गुणवत्ता, सुरक्षा और प्रभावकारिता के साथ-साथ कार्यक्रम की जरूरतों के एकीकृत मानकों को पूर्ण करते हैं। निर्माताओं के लिए संयुक्त राष्ट्र खरीद एजेंसियों के माध्यम से देशों को आपूर्ति करना भी एक शर्त है। एक कार्यात्मक एनआरए टीकों की डब्ल्यूएचओ अर्हता पूर्व के लिए एक मानदंड है।

 

[wp-faq-schema title="FAQs" accordion=1]
vikash

Recent Posts

गुरु नानक जयंती 2024: जानें तिथि, समय, इतिहास और महत्व

गुरु नानक जयंती, जिसे गुरपुरब या गुरु नानक प्रकाश उत्सव भी कहा जाता है, सिखों…

58 mins ago

अवैध संपत्ति के विध्वंस को रोकने के लिए सुप्रीम कोर्ट के ऐतिहासिक दिशा-निर्देश

13 नवंबर को भारत के सर्वोच्च न्यायालय ने सरकार द्वारा सिर्फ़ अपराध के आरोपों के…

1 hour ago

पिनफेनॉन (एस) (आर) – कैनाइन हृदय विकार उपचार के लिए पहला पेटेंट

टोक्यो के शिबुया वार्ड में स्थित स्केयरक्रो इनकॉर्पोरेटेड ने अपने पशु सप्लीमेंट, पिनफेनॉन (एस) (आर)…

19 hours ago

भुवनेश्वर में 18वें प्रवासी भारतीय दिवस के लिए वेबसाइट लॉन्च की गई

18वां प्रवासी भारतीय दिवस (पीबीडी) सम्मेलन 8 जनवरी से 10 जनवरी, 2025 तक ओडिशा के…

20 hours ago

RBI ने एसबीआई, एचडीएफसी बैंक और आईसीआईसीआई बैंक को डी-एसआईबी के रूप में बरकरार रखा

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने पुष्टि की है कि भारतीय स्टेट बैंक (SBI), एचडीएफसी बैंक,…

20 hours ago

अमनदीप जोहल को ‘प्रोफेशनल गोल्फ टूर ऑफ इंडिया’ का सीईओ नियुक्त किया गया

‘प्रोफेशनल गोल्फ टूर ऑफ इंडिया (पीजीटीआई)’ ने अमनदीप जोहल को अपना नया मुख्य कार्यकारी अधिकारी…

20 hours ago