भारत की सार्वजनिक परीक्षा प्रणाली में पारदर्शिता और निष्पक्षता बढ़ाने की दिशा में एक निर्णायक कदम के रूप में, भारतAI ने, जो इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (MeitY) के अंतर्गत काम करता है, Face Authentication Challenge शुरू किया है।
यह राष्ट्रीय प्रतियोगिता स्टार्टअप्स और कंपनियों को आमंत्रित करती है कि वे एक सुरक्षित, AI-समर्थित फेस वेरिफिकेशन सिस्टम विकसित करें, जो डुप्लिकेट या धोखाधड़ी वाले आवेदन को रोक सके। इसका उद्देश्य बड़े पैमाने की परीक्षाओं में मेरिट आधारित चयन की पवित्रता बनाए रखना है।
इस चुनौती में पुरस्कार राशि ₹2.5 करोड़ है और आवेदन 25 अक्टूबर 2025 तक खुले हैं। यह पहल कृत्रिम बुद्धिमत्ता और शासन (AI + Governance) के बीच नवाचार को बढ़ावा देती है।
पृष्ठभूमि
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UPSC, SSC और राज्य बोर्ड जैसी एजेंसियों द्वारा आयोजित सार्वजनिक भर्ती और परीक्षाओं में पहचान धोखाधड़ी, नकल और डुप्लिकेट आवेदन जैसी समस्याएं बढ़ रही हैं।
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पारंपरिक लॉजिक-आधारित सिस्टम बड़े पैमाने पर इन विसंगतियों का पता लगाने में असफल रहते हैं।
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AI-समर्थित फेस ऑथेंटिकेशन एक विश्वसनीय विकल्प प्रदान करता है, जो सटीक इमेज वेरिफिकेशन और डुप्लिकेट पहचान संभव बनाता है।
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विकसित तकनीकें परीक्षा सुरक्षा में सुधार करते हुए निष्पक्ष अवसरों की सुनिश्चितता देती हैं।
IndiaAI चुनौती की मांग
इंडियाएआई फेस ऑथेंटिकेशन चैलेंज, इंडियाएआई एप्लीकेशन डेवलपमेंट इनिशिएटिव (आईएडीआई) का हिस्सा है, जो एक मजबूत, स्केलेबल और नैतिक समाधान विकसित करने पर केंद्रित है जिसका उपयोग विभिन्न सरकारी विभागों में किया जा सकता है।
मुख्य विशेषताएँ:
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AI-संचालित फोटो वेरिफिकेशन और डुप्लिकेट हटाने वाला सिस्टम।
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ऐतिहासिक आवेदक अभिलेखों में एक-से-कई मिलान तकनीकों का उपयोग।
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नियम आधारित सिस्टम से परे एडवांस्ड फेस रिकॉग्निशन एल्गोरिदम का प्रयोग।
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प्रत्येक आवेदक की अद्वितीय पहचान सुनिश्चित करना।
लक्ष्य: यह प्रणाली न केवल सार्वजनिक परीक्षा क्षेत्र में उपयोगी होगी, बल्कि शिक्षा, कल्याण वितरण और पहचान आधारित सेवाओं जैसे अन्य क्षेत्रों में भी लागू की जा सकेगी।
पुरस्कार संरचना और समर्थन
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शीर्ष 10 टीमों को प्रोटोटाइप विकास और टेस्टिंग के लिए प्रत्येक ₹5 लाख प्रदान किए जाएंगे।
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टॉप 2 टीमों को दो वर्षीय डिप्लॉयमेंट कॉन्ट्रैक्ट और ₹1 करोड़ प्रत्येक पुरस्कार के रूप में मिल सकते हैं।
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ये प्रोत्साहन भारत की स्टार्टअप इकोसिस्टम, अनुसंधान प्रयोगशालाओं और AI विकास कंपनियों के लिए चुनौती को बेहद आकर्षक बनाते हैं।
महत्वपूर्ण तथ्य
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आयोजक: यह चुनौती डिजिटल इंडिया कॉरपोरेशन (डीआईसी), एमईआईटीवाई के तहत एक आईबीडी इंडियाएआई द्वारा शुरू की गई है।
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भाग: यह इंडियाएआई एप्लीकेशन डेवलपमेंट इनिशिएटिव (आईएडीआई) का हिस्सा है।
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लक्ष्य: सार्वजनिक परीक्षाओं में निष्पक्षता सुनिश्चित करने के लिए फेस ऑथेंटिकेशन सिस्टम विकसित करना
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कुल पुरस्कार राशि: ₹2.5 करोड़
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प्रमुख फीचर्स: इमेज वेरिफिकेशन, डुप्लिकेशन हटाना, AI का उपयोग करके One-to-many मैचिंग