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भारत-मलेशिया रक्षा सहयोग मजबूत, Su-30 बेड़े के रखरखाव और परिचालन में सहयोग बढ़ा

भारत और मलेशिया ने अपने रूसी मूल के सुखोई-30 (Su-30) लड़ाकू विमानों के रखरखाव और परिचालन विशेषज्ञता को मजबूत करने के लिए एक महत्वपूर्ण रक्षा सहयोग समझौते को अंतिम रूप दिया है। रक्षा सचिव राजेश कुमार सिंह की कुआलालंपुर यात्रा के दौरान, भारतीय वायु सेना (IAF) और रॉयल मलेशियन एयर फोर्स (RMAF) के बीच सहयोग को बढ़ाने पर सहमति बनी। यह समझौता 13वें मलेशिया-इंडिया डिफेंस कोऑपरेशन कमेटी (MIDCOM) बैठक का हिस्सा था, जिसमें साइबर सुरक्षा, कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI), समुद्री सुरक्षा और रक्षा उद्योग भागीदारी जैसे विषयों पर भी चर्चा हुई।

भारत-मलेशिया रक्षा सहयोग के प्रमुख बिंदु

Su-30 रखरखाव और वायु सेना सहयोग

  • भारत और मलेशिया ने अपने Su-30 लड़ाकू विमानों के रखरखाव और संचालन में विशेषज्ञता साझा करने का निर्णय लिया।
  • Su-30 फोरम आधिकारिक रूप से स्थापित किया गया, जिससे IAF और RMAF के बीच घनिष्ठ सहयोग संभव होगा।
  • यह फोरम MIDCOM के तहत एक मध्यस्थ परामर्श तंत्र के रूप में कार्य करेगा।

द्विपक्षीय रक्षा संबंधों को सुदृढ़ करना

  • 13वीं MIDCOM बैठक कुआलालंपुर में आयोजित हुई, जिसकी सह-अध्यक्षता रक्षा सचिव राजेश कुमार सिंह और मलेशिया के रक्षा सचिव जनरल लोकमान हाकिम बिन अली ने की।
  • दोनों देशों ने बढ़ते सैन्य सहयोग और रक्षा साझेदारी पर संतोष व्यक्त किया।
  • रणनीतिक मामलों के कार्य समूह (Strategic Affairs Working Group) का गठन किया गया, जो रक्षा उद्योग भागीदारी और सुरक्षा पहल को बढ़ावा देगा।

नए रक्षा सहयोग क्षेत्र

भारत और मलेशिया ने निम्नलिखित उभरते सुरक्षा क्षेत्रों में सहयोग पर सहमति व्यक्त की:

  • साइबर सुरक्षा
  • कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI)
  • गैर-पारंपरिक समुद्री सुरक्षा चुनौतियां
  • इन सुरक्षा चिंताओं को हल करने के लिए संयुक्त फोकस समूह बनाया जाएगा।

क्षेत्रीय और वैश्विक समन्वय

  • दोनों देशों ने समग्र रणनीतिक साझेदारी (Comprehensive Strategic Partnership) को मजबूत करने की प्रतिबद्धता दोहराई।
  • भारत ने आसियान (ASEAN) की केंद्रीयता और एकता के प्रति अपने समर्थन को दोहराया।
  • भारत ने मलेशिया की ADMM-Plus अध्यक्षता को मान्यता दी और इसके नेतृत्व को समर्थन देने की घोषणा की।

रक्षा उद्योग सहयोग

  • भारत ने अपनी रक्षा उद्योग क्षमताओं को उजागर करते हुए मलेशियाई कंपनियों के साथ भागीदारी को प्रोत्साहित किया।
  • रक्षा सचिव राजेश कुमार सिंह ने हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) की मलेशिया के आधुनिकीकरण और क्षमता वृद्धि कार्यक्रमों में भागीदारी की संभावना को प्रस्तुत किया।

Su-30 विमानों की मौजूदा और भविष्य की योजनाएं

  • भारत के पास 259 Su-30MKI विमान हैं, जिनमें से 12 और विमानों का ऑर्डर दिया गया है, जिसकी लागत ₹12,573 करोड़ है।
  • मलेशिया के पास 18 Su-30MKM विमान हैं।
  • HAL को Su-30MKI अपग्रेड प्रोग्राम की मंजूरी मिलने की उम्मीद है, जिससे भारत के Su-30MKI बेड़े की ऑपरेशनल लाइफ 30 साल तक बढ़ाई जा सकेगी।
विषय विवरण
क्यों चर्चा में? भारत और मलेशिया ने सैन्य और Su-30 सहयोग को गहरा किया।
Su-30 रखरखाव सहयोग IAF और RMAF के सहयोग के लिए Su-30 फोरम स्थापित।
13वीं MIDCOM बैठक भारत के रक्षा सचिव और मलेशिया के रक्षा सचिव जनरल की सह-अध्यक्षता।
रणनीतिक मामलों का कार्य समूह एक मध्यस्थ परामर्श तंत्र के रूप में स्थापित।
नए सहयोग क्षेत्र साइबर सुरक्षा, कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI), समुद्री सुरक्षा चुनौतियाँ।
भारत का Su-30 बेड़ा 259 Su-30MKI विमान (+12 ऑर्डर पर)।
मलेशिया का Su-30 बेड़ा 18 Su-30MKM विमान।
भारत की रक्षा उद्योग भूमिका HAL और भारतीय रक्षा कंपनियाँ मलेशियाई सैन्य आधुनिकीकरण में सहयोग करेंगी।
क्षेत्रीय सहयोग भारत ने ASEAN की एकता और मलेशिया की ASEAN अध्यक्षता का समर्थन किया।
इंडो-पैसिफिक सहभागिता भारत ने मलेशिया को एक्ट ईस्ट पॉलिसी और SAGAR पहल के तहत एक महत्वपूर्ण भागीदार माना।
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