देशभर में डिजिटल भुगतान सितंबर तक के एक साल में 24.13 प्रतिशत बढ़ गया। भारतीय रिजर्व बैंक के सूचकांक से यह आंकड़ा सामने आया है। देश में ऑनलाइन लेनदेन को अपनाने की दर पर नजर रखने वाले आरबीआई-डीपीआई के मुताबिक सितंबर, 2022 में यह सूचकांक 377.46 पर रहा जबकि मार्च में यह 349.30 और सितंबर, 2021 में 304.06 रहा था।
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आरबीआई ने हाल ही में जारी एक बयान में डिजिटल भुगतान सूचकांक (डीपीआई) के आंकड़े जारी किए। रिजर्व बैंक ने कहा कि भुगतान ढांचे और भुगतान प्रदर्शन में खासी वृद्धि के दम पर सभी मानकों पर आरबीआई-डीपीआई सूचकांक बढ़ा है। अपने आरंभ से सूचकांक शृंखला निम्नानुसार है:
अवधि | आरबीआई-डीपीआई सूचकांक |
मार्च 2018 (आधार) | 100 |
मार्च 2019 | 153.47 |
सितंबर 2019 | 173.49 |
मार्च 2020 | 207.84 |
सितंबर 2020 | 217.74 |
मार्च 2021 | 270.59 |
सितंबर 2021 | 304.06 |
मार्च 2022 | 349.30 |
सितंबर 2022 | 377.46 |
केंद्रीय बैंक ने मार्च, 2018 में डिजिटल भुगतान की वृद्धि पर नजर रखने के लिए इस सूचकांक की शुरुआत की थी। इसे पांच व्यापक मानदंडों पर तैयार किया जाता है जिनमें भुगतान ढांचा और आपूर्ति पक्ष जैसे कारक शामिल हैं। पहले इसे चार महीनों के अंतराल पर जारी किया जाता था लेकिन मार्च, 2021 से यह हर छमाही में एक बार जारी होता है।
शक्तिकांत दास
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