महान बंगाली गायिका संध्या मुखर्जी (Sandhya Mukherjee) का 90 वर्ष की आयु में हृदय गति रुकने से निधन हो गया। उनका पूरा नाम गीताश्री संध्या मुखोपाध्याय (Geetashree Sandhya Mukhopadhyay) था। उन्हें हाल ही में केंद्र सरकार से जनवरी 2022 में दिए गए पद्म पुरस्कार को स्वीकार करने से इनकार कर दिया था। उन्होंने कहा कि पद्मश्री कोई पुरस्कार नहीं है जो उनके जैसे दिग्गज को दिया जाना चाहिए। उसे स्वीकार करना उनके लिए अशोभनीय होगा।
Buy Prime Test Series for all Banking, SSC, Insurance & other exams
हिन्दू रिव्यू जनवरी 2022, Download Monthly Hindu Review PDF in Hindi
उनका जन्म 1931 में कोलकाता में हुआ था, संध्या मुखर्जी ने अपना पहला गाना 1948 में हिंदी फिल्म अंजान गढ़ के लिए रिकॉर्ड किया था। संगीत राय चंद बोरल (Rai Chand Boral) ने दिया था। उन्होंने एस डी बर्मन, रोशन और मदन मोहन जैसे प्रसिद्ध संगीतकारों के निर्देशन में गाया था ।
उन्हें प्राप्त विभिन्न सम्मान:
मुखर्जी को 2011 में बंगाल सरकार द्वारा दिया जाने वाला सर्वोच्च नागरिक सम्मान बंगा विभूषण और 1970 में जय जयंती (साउंड ऑफ म्यूजिक का एक बंगाली रीमेक) और निशि पद्मा के लिए सर्वश्रेष्ठ महिला पार्श्व गायिका का राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार मिला। निशि पद्मा को राजेश खन्ना अभिनीत अमर प्रेम के रूप में हिंदी में बनाया गया था।
[wp-faq-schema title="FAQs" accordion=1]20 नवंबर 2024 को, केंद्र सरकार ने कानून और न्याय मंत्रालय के माध्यम से एक…
सी.आर. पाटिल, माननीय जल शक्ति मंत्री ने इंडिया वॉटर वीक 2024 के समापन समारोह के…
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को कोविड-19 महामारी के दौरान उनके महत्वपूर्ण योगदान और भारत व कैरेबियाई…
19 नवंबर 2024 को भारत सरकार की सौर ऊर्जा निगम लिमिटेड (SECI) और H2Global Stiftung…
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी नाइजीरिया यात्रा के दौरान नाइजीरियाई राष्ट्रपति बोला अहमद टिनूबू को…
भारत ने क्लाइमेट चेंज परफॉर्मेंस इंडेक्स (CCPI) 2025 में पिछले वर्ष की तुलना में दो…