37वां कथक महोत्सव 2025: नृत्य और साहित्य का भव्य उत्सव

नई दिल्ली स्थित संगीत नाटक अकादमी के अधीन कथक केंद्र द्वारा आयोजित 37वां कथक महोत्सव 2025 सफलतापूर्वक संपन्न हुआ। यह छह दिवसीय आयोजन कथक कला के लिए ऐतिहासिक रहा, क्योंकि इसमें विश्व का पहला “कथक साहित्य महोत्सव” भी शामिल था। इस महोत्सव में सेमिनार, प्रदर्शनी और मंत्रमुग्ध कर देने वाले नृत्य प्रदर्शन हुए, जिनमें लखनऊ, जयपुर, बनारस और रायगढ़ घरानों के प्रमुख कलाकारों ने अपनी प्रस्तुतियाँ दीं। कार्यक्रम ने राजकीय संरक्षण, कथक के “बोलों” का विकास और साहित्यिक दस्तावेजीकरण पर भी प्रकाश डाला, जिससे यह महोत्सव न केवल कलात्मक बल्कि बौद्धिक दृष्टि से भी अविस्मरणीय बन गया।

37वें कथक महोत्सव 2025 के प्रमुख आकर्षण

1. महोत्सव की अनूठी विशेषताएँ

  • प्रथम “कथक साहित्य महोत्सव,” जिसमें कथक की साहित्यिक विरासत को प्रदर्शित किया गया।
  • पांडुलिपियों, ऐतिहासिक प्रभावों और कलात्मक विकास पर आधारित वॉक-थ्रू प्रदर्शनी।
  • सेमिनार और परिचर्चाएँ, जिनमें राजकीय संरक्षण, कथक के “बोलों” का विकास और पांडुलिपियों के महत्व पर चर्चा की गई।
  • प्रतिदिन कथक नृत्य समारोह, जिसमें एकल, युगल और समूह नृत्य प्रदर्शन हुए।

2. विशिष्ट अतिथि एवं प्रतिभागी

प्रमुख अतिथि:

  • डॉ. विनय सहस्रबुद्धे (पूर्व सांसद एवं आईसीसीआर के पूर्व अध्यक्ष)

  • महाराज पुष्पराज सिंह (रीवा)

  • डॉ. अमरेंद्र खातुआ (आईएफएस, पूर्व महानिदेशक, आईसीसीआर)

  • डॉ. सरिता पाठक (प्रसिद्ध गायिका एवं लेखिका)

प्रख्यात कलाकार एवं विद्वान:

पं. रामलाल बरेठ (बिलासपुर), डॉ. पुरु दधेच एवं डॉ. विभा दधेच (इंदौर), डॉ. पूर्णिमा पांडे (लखनऊ), प्रो. भरत गुप्त (गुरुग्राम), सस्वती सेन, वासवती मिश्रा (दिल्ली), डॉ. नंदकिशोर कपोते (पुणे), डॉ. शोवना नारायण (दिल्ली), श्री विशाल कृष्ण (बनारस) आदि।

3. नेतृत्व एवं निर्देशन

  • कथक केंद्र की निदेशक श्रीमती प्रणामे भगवती ने इस महोत्सव का नेतृत्व किया और इसे नवीन दृष्टिकोण के साथ प्रस्तुत किया।
  • उनके निर्देशन में सभी प्रमुख कथक घरानों को शामिल करते हुए सौंदर्यात्मक उत्कृष्टता पर बल दिया गया।

4. साहित्यिक एवं विद्वत्तापूर्ण योगदान

  • शोधपरक चर्चाओं को पुस्तक संग्रह के रूप में संकलित कर प्रकाशित किया गया।
  • पुस्तक मेले में कथक की साहित्यिक एवं कलात्मक विरासत पर आधारित नई प्रकाशित पुस्तकों का प्रदर्शन किया गया।

5. कमानी सभागार में भव्य समापन

विशेष अतिथि:

  • श्रीमती अमिता प्रसाद साराभाई (संयुक्त सचिव, संस्कृति मंत्रालय)

  • डॉ. संध्या पुरेचा (अध्यक्ष, संगीत नाटक अकादमी)
    भरे हुए सभागार में पारंपरिक कथक प्रस्तुतियाँ हुईं, जिसने कथक की समृद्ध विरासत को उत्सव के रूप में मनाया।

6. कथक के भविष्य की दृष्टि

  • इस महोत्सव ने कथक केंद्र की नवाचार और कलात्मक विस्तार की प्रतिबद्धता को प्रदर्शित किया।
  • कथक के दायरे को और ऊँचा उठाने के लिए नए दृष्टिकोण और वैश्विक सहयोग की योजनाएँ बनाई गईं।
सारांश/स्थिर जानकारी विवरण
क्यों चर्चा में? 37वां कथक महोत्सव 2025: नृत्य और साहित्य का भव्य उत्सव
आयोजनकर्ता कथक केंद्र, नई दिल्ली (संगीत नाटक अकादमी)
अवधि छह दिन
स्थान नई दिल्ली
मुख्य आकर्षण विश्व का पहला कथक साहित्य महोत्सव
अन्य विशेषताएँ वॉक-थ्रू प्रदर्शनी, सेमिनार, पुस्तक मेला, नृत्य संध्या
प्रमुख कथक घराने लखनऊ, जयपुर, बनारस, रायगढ़
प्रसिद्ध अतिथि डॉ. विनय सहस्रबुद्धे, महाराज पुष्पराज सिंह, डॉ. अमरेंद्र खातुआ, डॉ. सरिता पाठक
प्रमुख कलाकार एवं विद्वान पं. रामलाल बरेठ, डॉ. पुरु एवं विभा दधेच, डॉ. शोवना नारायण, सस्वती सेन, विशाल कृष्ण एवं अन्य
समापन स्थल कमानी सभागार, नई दिल्ली
समापन दिवस के विशेष अतिथि श्रीमती अमिता प्रसाद साराभाई, डॉ. संध्या पुरेचा
नेतृत्व श्रीमती प्रणामे भगवती (निदेशक, कथक केंद्र)
प्रभाव कथक की साहित्यिक एवं कलात्मक विरासत को सशक्त बनाया
भविष्य की दृष्टि कथक की वैश्विक उपस्थिति और बौद्धिक गहराई का विस्तार
[wp-faq-schema title="FAQs" accordion=1]
vikash

Recent Posts

MEITY और MEA ने DigiLocker के जरिए पेपरलेस पासपोर्ट वेरिफिकेशन शुरू किया

भारत में डिजिटल इंडिया को बड़ा प्रोत्साहन देते हुए इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (MEITY)…

5 hours ago

S-500 मिसाइल सिस्टम: फीचर्स, रेंज, स्पीड, तुलना और भारत की दिलचस्पी

रूस की S-500 मिसाइल प्रणाली, जिसे आधिकारिक रूप से 55R6M “ट्रायंफेटर-M” या प्रोमेतेय कहा जाता…

6 hours ago

RBI मौद्रिक नीति दिसंबर 2025: दरों में कटौती और भारतीय अर्थव्यवस्था पर इसका प्रभाव

भारतीय रिज़र्व बैंक अधिनियम, 1934 की धारा 45ZL के तहत भारत की मौद्रिक नीति समिति…

6 hours ago

Pakistan में आसिम मुनीर बने पहले चीफ ऑफ डिफेंस फोर्सेस

पाकिस्तान की सैन्य कमान में एक ऐतिहासिक बदलाव करते हुए फील्ड मार्शल आसिम मुनीर को…

7 hours ago

ऑस्ट्रेलिया की विक्टोरिया यूनिवर्सिटी 2026 तक गुरुग्राम में अपना पहला भारतीय कैंपस खोलेगी

भारत में उच्च शिक्षा क्षेत्र के लिए एक महत्वपूर्ण कदम के रूप में, ऑस्ट्रेलिया की…

7 hours ago

जानें कैसे 29 साल की लड़की बनी दुनिया की सबसे युवा सेल्फ-मेड महिला अरबपति

सिर्फ 29 साल की उम्र में लुवाना लोप्स लारा (Luana Lopes Lara) ने दुनिया की…

8 hours ago